समय के साथ खत्म हो जाएंगे हेट्रोसेक्सुल लोगः शोध
समय के साथ बाइसेक्सुअल लोगों की संख्या बढ़ेगी जबकि हेट्रोसेक्सुअल लोग खत्म हो जाएंगे.;
शोधकर्ता कहते हैं, "हमारे शोध के नतीजे दिखाते हैं कि बीएसबी जीन्स वाले नरों में पुनरोत्पादन यानी बच्चे पैदा करने की संभावना ज्यादा होती है. इससे अनुमान लगाया जा सकता है कि क्यों वे जीन्स पिछली पीढ़ी से उनके अंदर बने रहे और आगे भी बढ़ रहे हैं.”
हालांकि यूके बायोबैंक के सर्वेक्षण में बहुत सरल सवाल पूछे गए थे मसलन क्या आप खुद को खतरे उठाने वाला समझते हैं या नहीं. लेकिन इसका एक निष्कर्ष यह निकाला गया कि खतरे उठाने वाले व्यवहार में असुरक्षित यौन संबंध बनाने और ज्यादा लोगों के साथ यौन संबंध बनाने की प्रवृत्ति ज्यादा होगी.
जांग कहते हैं कि एक ही जीन्स अलग-अलग कारकों के लिए जिम्मेदार हो सकता है. वह कहते हैं, "कुदरत बहुत जटिल चीज है. यहां हम तीन अलग-अलग कारकों की बात कर रहे हैं. बच्चों की संख्या, खतरा उठाने से जुड़ा व्यवहार और दो लिंगों के प्रति आकर्षण. इन तीनों के लिए एक ही जीन्स जिम्मेदार है.”
क्या खत्म हो जाएंगे विपरीतलिंगी?
दूसरी तरफ सिर्फ समान लिंग की तरफ आकर्षण के लिए जिम्मेदार जीन्स कम बच्चे पैदा करने के व्यवहार से जुड़े थे. यानी जिन विपरीतलिंगी पुरुषों में ये जीन्स पाए गए उनके अंदर बच्चे पैदा करने की संभावना ज्यादा थी, जिसका निष्कर्ष यह निकाला गया कि समय के साथ-साथ ये जीन्स खत्म हो जाएंगे.
हालांकि यूके बायोबैंक के आंकड़ों ने यह भी दिखाया कि पिछले दशकों में दोनों लिंगों और समान लिंग के प्रति आकर्षण को जाहिर करने वाले लोगों की संख्या लगातार बढ़ रही है, जो समाज के खुलेपन के कारण हो सकता है.
शोधकर्ताओं ने कहा कि कोई व्यक्ति दोनों लिंगों के प्रति आकर्षित है या नहीं, यह 40 फीसदी जेनेटिक्स पर निर्भर करता है और 60 फीसदी माहौल पर.
उन्होंने जोर देकर कहा, "हम यह स्पष्ट कर देना चाहते हैं कि हमारे निष्कर्ष विविधता, बहुलता और मानव के यौन व्यवहार की बेहतर समझ में योगदान देने के लिए हैं. वे किसी भी रूप में यौन व्यवहार के आधार पर भेदभाव को बढ़ावा देने या समर्थन करने के लिए नहीं हैं.”