प्रदेश के सभी ब्लॉक के एक गांव में होगी योगिक व जैविक खेती : शाही
पेड़-पौधों व जीवों में भी संवेदना होती है, बीजामृत, जीवामृत बैक्टिरिया को कई गुणा बढ़ाकर धरती की संवेदना को बढ़ाते हैं;
ग्रेटर नोएडा। योगिक खेती व जैविक खेती को उत्तर प्रदेश के हर ब्लॉक के एक ग्राम में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में चलाया जाएगा। यह बात मुख्य अतिथि के रूप में उत्तर प्रदेश राज्य के कैबिनेट मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने ब्रह्मïकुमारी संस्था द्वारा आयोजित किसान महासम्मेलन में शनिवार को शहीद विजय सिंह पथिक खेल परिसर में कहीं। उन्होंने कहा कि पेड़-पौधों व जीवों में भी संवेदना होती है, बीजामृत, जीवामृत बैक्टिरिया को कई गुणा बढ़ाकर धरती की संवेदना को बढ़ाते हैं।
पौधे हमारे परिवार के सदस्य है हमारे मन का प्रभाव उन पर पड़ता है इसलिए योगिक खेती शुद्ध विचारों से खेती करना सिखा रही है। उन्होंने आगे कहा कि गाय के गौबर और गौमूत्र का प्रयोग करते तो डी.ए.पी. की जरूरत ही नहीं पड़ती, इसलिए परम्परागत खेती को बढ़ाना होगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा भी अपने लिखित संदेश द्वारा इस योग एवं कल्याण मेले में युवकों हेतु आयोजित यंग इण्डिया कनक्लेव द्वारा युवाओं जो कि समाज और राष्टï्र की समृद्धि का आधार है और किसान जो कि हमारी अर्थव्यवस्था की रक्त के समान है, हेतु आयोजित किसान महासम्मेलन द्वारा किसानों के कल्याण हेतु शुभ कामनाएं दी गई।
ब्रह्मïकुमारी संस्था के कृषि और ग्राम विकास के अध्यक्ष राजू भाई ने बताया कि बीमारियों का कारण अन्न व मन बन रहा है, इसलिए संस्था द्वारा ग्रामों में स्वच्छता, निर्व्यसन बने व साक्षर बने अभियान के बाद योगिक खेती का अभियान के रूप में लिया गया है। उन्होंने बताया कि उत्तम पुरूष व उत्तम खेती करने के लिए अपने मन को सद्भाव, प्यार, शान्ति व पवित्र विचारों की शक्ति से भरना होगा और ईष्या, द्वेष, स्वार्थ व विकारों की भावनाएं जिससे प्रकृति और वायुमण्डल बिगड़ रहा है उसे छोड़ना होगा। फिर से आवश्यकता है स्वयं को व अपनी शक्ति को पहचान राजयोग द्वारा परमसत्ता परमात्मा से शक्ति ले खेती व पशुओं को देनी होगी।
उन्होंने आगे बताया कि जिस प्रकार सूर्य की किरणें स्वच्छ कांच के माध्यम से प्रभावशाली व शक्तिशाली हो जाती हैं उसी प्रकार अपने मन रूपी दर्पण को स्वच्छ बनाना होगा जिससे परमात्म सूर्य की शक्ति व शान्ति की किरणें स्वच्छ मन द्वारा प्रकृति व खेती पर सकारात्मक प्रभाव डालेगी। मेले के संयोजक एवं इण्डिया एक्पो मार्ट के निदेशक विवेक विकास ने बताया कि योगिक खेती को एक मॉडल रूप में दिखाने हेतु ग्रेटर नोएडा के गुर्जरपुर में 25 एकड़ जमीन ली गई है जिस पर अभी गेहूं की खेती चालू की गई है और भविष्य में फलों व सब्जियों की खेती भी की जाएगी।