भूकंप रोधी भवन बनाने की तकनीकी जानकारी से रुबरु हो रहे हैं शिक्षक

जीएनआईओटी कॉलेज के सिविल विभाग में एकेटीयू द्वारा भूकंप प्रतिरोधक डिजाईन ऑफ़ बिल्डिंग विषय पर पांच दिवसीय शिक्षक विकास कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया;

Update: 2017-12-09 13:34 GMT

ग्रेटर नोएडा।  जीएनआईओटी कॉलेज के सिविल विभाग में एकेटीयू द्वारा भूकंप प्रतिरोधक डिजाईन ऑफ़ बिल्डिंग विषय पर पांच दिवसीय शिक्षक विकास कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि डॉ. टीके. दत्ता प्रोफेसर आईआईटी. दिल्ली, संस्थान के चेयरमैन बीएल.गुप्ता, निदेशक डॉ. रोहित गर्ग ने किया।

इस कार्यक्रम में वक्ता डॉ. वीरेन्द्र कुमार प्रो. एनआईटी. जमशेदपुर, कार्यक्रम के संयोजक तथा सिविल विभाग के हेड डॉ. बीके. सिंह, डीन एकेडेमिक डॉ. विनय गोयल, डीन इलेक्ट्रोनिक्स एण्ड कम्यूनिकेशन तथा इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग विभाग डॉ. शैली गर्ग, प्रोफेसर आरके. तेवतिया, सभी विभागों के विभागाध्यक्ष, शिक्षक सदस्य व एनसीआर के अन्य कॉलेजों के शिक्षक मौजूद रहे।

मुख्य अतिथि डॉ. टीके. दत्ता ने सिस्मिक जोन के अनुसार भूकंप रोधी बिल्डिंग्स की डिजाईन तथा स्ट्रकचर सही होना चाहिए, जिससे इमारतों को सुरक्षित रखकर भूकंप के  खतरों से बचा जा सकता है। भारत में कम इमारते ऐसी होती है जहां इसका ध्यान रखा जाता है इसके अलावा ईमारत बनाने के दौरान पहले दिवार बाद में कॉलम बीम बनानी चाहिए, जिससे वह भूकंप में भी टिकी रहे। उसके बाद संस्थान के निदेशक डॉ. रोहित गर्ग ने कार्यक्रम में आए हुए सभी अतिथियों का स्वागत किया व कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए सभी का धन्यवाद किया।

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