भारत-प्रशांत क्षेत्र में अमेरिका के साथ साझेदारी से स्थिरता आएगी : सुषमा

डोकलाम में चीनी सैनिकों के साथ गतिरोध तथा उत्तराखंड में चीनी सैनिकों की घुसपैठ के बीच विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा कि भारत-प्रशांत क्षेत्र में स्थिरता के लिए भारत-अमेरिका के बीच साझेदारी जरूरी है;

Update: 2017-08-01 23:01 GMT

नई दिल्ली। सिक्किम सेक्टर के डोकलाम में चीनी सैनिकों के साथ गतिरोध तथा उत्तराखंड में कथित तौर पर चीनी सैनिकों की घुसपैठ के बीच विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा कि भारत-प्रशांत क्षेत्र में स्थिरता के लिए भारत और अमेरिका के बीच साझेदारी जरूरी है।

राष्ट्रीय राजधानी में देर सोमवार को भारत-अमेरिका फोरम के पहले संस्करण का उद्घाटन करते हुए सुषमा स्वराज ने कहा, "आज की तारीख में दुनिया के सामने प्रमुख चुनौतियों में से एक भारत-प्रशांत क्षेत्र में हालात का बदलना है।"

उन्होंने कहा, "इस क्षेत्र में शांति, स्थिरता तथा खुशहाली के लिए भारत-अमेरिका के बीच मजबूत साझेदारी महत्वपूर्ण है।"

उनकी यह टिप्पणी दक्षिण चीन सागर में चीन के बढ़ते दखल के बीच आई है। चीन के दावे को क्षेत्र के कई देशों ने चुनौती दे रखी है।

भारत, अमेरिका तथा जापान ने इस महीने की शुरुआत में बंगाल की खाड़ी में मालाबार संयुक्त नौसेना अभ्यास किया, जिसे चीन के खिलाफ तीनों देशों द्वारा सुरक्षाबलों को मजबूत करने के रूप में देखा जा रहा है, जो भारतीय-प्रशांत क्षेत्र में अपने पांव जमाने की कोशिश में लगा है।

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