कांग्रेस के लिए वादा करना और वादे से मुकरना कोई नयी बात नहीं :प्रकाश

किसानों को बदतर स्थिति में डाल दिया गया है, वादे के उलट उन्हें कर्ज वसूली के नोटिस आ रहे हैं;

Update: 2018-12-24 20:13 GMT

नयी दिल्ली । भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कांग्रेस को किसानों की दुर्दशा का असली कारण करार देते हुए अाज कहा कि किसानों की कर्ज़ माफी का वादा उसका ढकोसला और झूठ का पुलिंदा है जिसका उद्देश्य किसी भी तरह से सत्ता हासिल करना रहा है।

भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं केन्द्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने यहां पार्टी मुख्यालय में एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि कांग्रेस के लिए वादा करना और वादे से मुकरना कोई नयी बात नहीं है। पंजाब, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, राजस्थान में वादा किया था कि किसानों का संपूर्ण ऋण माफ किया जाएगा। लेकिन किसानों को बदतर स्थिति में डाल दिया गया है। वादे के उलट उन्हें कर्ज वसूली के नोटिस आ रहे हैं।

जावड़ेकर ने कहा कि कर्नाटक की कांग्रेस-जनता दल सेकुलर सरकार ने किसानों का 45 हजार करोड़ रुपये का कर्ज माफ़ करने का एलान किया था लेकिन सरकार के शपथ लेने के छह महीने बाद भी 75 करोड़ रुपये तक माफ़ नहीं किये गए हैं। उलटे कर्नाटक की राज्य सरकार ने राष्ट्रीयकृत बैंकों की बैठक बुलाकर कहा कि आप किसानों के कर्ज माफ़ कीजिये, हम पैसे नहीं दे सकते जबकि राज्य सरकार को ऐसी बैठकें बुलाने का अधिकार ही नहीं है।

उन्होंने कहा कि राष्ट्रीयकृत बैंकों पर डाका डालना कांग्रेस का मूल स्वभाव रहा है। जब बैंकों ने कांग्रेस- जनता दल सेकुलर सरकार से कहा कि हम ऐसा नहीं कर सकते, आपको पैसे देने ही होंगे तब कर्नाटक की कांग्रेस गठबंधन सरकार ने किसानों की कर्ज माफी के लिए केवल 50 करोड़ रुपये ही स्वीकृत किये और उसमें से भी केवल दो करोड़ रुपये ही राष्ट्रीयकृत बैंकों को दिए।

उन्होंने कहा कि किसानों को कर्ज माफी के लिए जो फॉर्म वितरित किये जा रहे हैं, इसमें ऋण माफी के लिए 52 शर्तें रखी गई है और इन शर्तों को पूरा करने वाले किसान ही कर्जमाफी के हकदार हो सकते हैं। यदि फॉर्म में उल्लेखित सभी 52 शर्तों को कसौटी पर कसा जाय तो राज्य के 15 फीसदी किसान भी सही से कर्जमाफी की पात्रता हासिल नहीं कर पायेंगे।

उन्होंने कहा कि ये कांग्रेस का ट्रैक रिकॉर्ड है कि उसकी कथनी और करनी में भारी अंतर होता है। कर्ज माफी का वादा एक ढकोसला और झूठ का पुलिंदा है। पंजाब में भी किसानों के कर्ज का आंकड़ा 90 हजार करोड़ रुपए का है जबकि बजट केवल 3000 करोड़ रुपए का आवंटित किया तथा वितरण केवल 300 करोड़ रुपए का किया। राष्ट्रीयकृत बैंकों से नोटिस एवं वारंट जारी हो रहे हैं।

जावड़ेकर ने कहा कि कर्नाटक सरकार ने छह महीनों में किसानों का कर्जा तो माफ़ किया नहीं लेकिन पेट्रोल-डीजल और बिजली के रेट जरूर बढ़ा दिए। इसका परिणाम यह हुआ कि मात्र छह महीने में ही कर्नाटक में लगभग 397 किसान आत्महत्या करने को मजबूर हुए। जब किसान बैंकों के नोटिस से परेशान हो कर आंदोलन करते हैं, प्रदर्शन करते हैं तो उन पर लाठीचार्ज किया जाता है, किसानों के खिलाफ वारंट निकाला जाता है। उन्होंने कहा कि केवल बेलगावी जिले में ही 160 किसानों पर मुकदमें दर्ज किये गए हैं।

केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि इसके पहले भी कर्नाटक में पांच सालों तक कांग्रेस की सरकार रही लेकिन तब की सिद्धारमैया सरकार लगातार किसानों की अनदेखी करती रही। कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार के दौरान पांच वर्षों में कर्नाटक के 3500 से अधिक किसान आत्महत्या को मजबूर हुए और अब छह महीने में ही 397 किसानों ने आत्महत्या की। वास्तविकता यह है कि कांग्रेस जो बोलती है, वह करती नहीं। कांग्रेस की कथनी और करनी में जमीन-आसमान का अंतर है।

जावड़ेकर ने कहा कि देश की आजादी से लेकर आज तक कांग्रेस ने हमेशा ही किसानों के साध धोखा किया है। कांग्रेस ने कभी भी किसानों को सशक्त बनाने के लिए कुछ नहीं किया। उन्होंने कहा कि पंजाब में भी कांग्रेस की सरकार ने चुनाव के समय किसानों से दो लाख रुपये तक का ऋण माफ़ करने का वादा किया था। एक आकलन के अनुसार पंजाब में वर्तमान में किसानों पर लगभग 90 हजार करोड़ रुपये का कर्ज है लेकिन पंजाब की कांग्रेस सरकार ने बजट में केवल 3000 करोड़ रुपये का ही प्रावधान किया और ये 3000 करोड़ रुपये भी माफ़ नहीं किये गए।

उन्होंने कहा कि पंजाब की कांग्रेस सरकार ने पहले किसानों को राष्ट्रीयकृत बैंकों के कर्जे को भी माफ़ करने की बात कही थी लेकिन अब इस वादे से भी कांग्रेस सरकार मुकर गई है। उन्होंने कहा कि किसान कांग्रेस सरकार की कर्ज माफी के जाल में फंस कर बैंकों का कर्ज चुकाना बंद कर चुके थे और अब कांग्रेस की वादाखिलाफी के कारण किसानों को नोटिस और वारंट जारी हो रहे हैं।

केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि किसानों की दुर्दशा कांग्रेस सरकारों की किसान विरोधी नीतियों के कारण ही हुई है। न तो कांग्रेस सरकार ने आज तक किसानों को फसल का सही मूल्य दिया और न ही किसानों की आय को बढ़ाने के कोई उपाय किये। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार स्वामीनाथन आयोग की सिफारशों को कभी स्वीकार नहीं किया। यह भाजपा की नरेन्द्र मोदी सरकार ने किसानों को उनकी फसल पर लागत मूल्य का डेढ़ गुना समर्थन मूल्य देने का निर्णय लिया है और 2022 तक किसानों की आय को दोगुना करने का लक्ष्य रखा है। 

जावड़ेकर ने कहा कि स्पष्ट है कि कांग्रेस किसान विरोधी है, कांग्रेस ने हमेशा ही किसानों का शोषण किया है। आज भी कांग्रेस पार्टी कर्ज माफी के नाम पर कर्नाटक और पंजाब के किसानों को धोखा दे रही है। मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में भी कांग्रेस यही करने वाली है।

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