पद्मश्री पुस्कार से सम्मानित प्रख्यात साहित्यकार मनु शर्मा का वाराणसी में निधन

प्रख्यात साहित्यकार, लेखक और चिंतक मनु शर्मा का आज सुबह उनके वाराणसी स्थित आवास पर निधन हो गया;

Update: 2017-11-08 11:12 GMT

वाराणसी।  प्रख्यात साहित्यकार, लेखक और चिंतक मनु शर्मा का आज सुबह उनके वाराणसी स्थित आवास पर निधन हो गया। वह करीब 89 वर्ष के थे।

पद्मश्री पुस्कार से सम्मानित श्री शर्मा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छ अभियान के नवरत्नों में शामिल थे। श्री शर्मा का निधन सुबह करीब पांच बजे उनके पियारी स्थित आवास पर हुआ। वह कुछ समय से बीमार थे। उनके निधन से साहित्य एवं कला जगत में शोक की लहर दौड़ गई।

शर्मा के निधन की सूचना के बाद उनके घर पर लोगों को तांता लगा है। श्री शर्मा को 2015 में पद्मश्री से सम्मानित किया गया था। उनका जन्म 1928 में फैजाबाद जिले के अकबरपुर में हुआ था। 

शर्मा ने साहित्य की हर विधा में लिखा है। उनके प्रमुख रचना-संसार में आठ खंडो में प्रकाशित “कृष्ण की आत्मकथा” भारतीय भाषाओं का विशालतम उपान्यास है। ललित निबंधों में वे अपनी सीमाओं का अतिक्रमण करते हैं तो उनकी कवितायें अपने समय का दस्तावेज हैं। उनकी प्रमुख पुस्तकों में तीन प्रश्न, राणा सांगा, छत्रपति, एकलिंक का दीवान ऐतिहासिक उपान्यास है। 

इसके अलावा मरीचिका, विवशता, लक्ष्मण रेखा, गांधी लोटे, सामाजिक उपान्यास तथा द्रौपती की आत्मकथा, द्रोण की आत्मकथा, गंधारी की आत्मकथा और अभिशप्त कथा पौराणिक उपान्यास हैं। इनके अलावा पोस्टर उखड़ गया, मुंशी नवनीत लाल, महात्मा और दीक्षा कहानी संग्रह हैं। खूंटी पर टंगा वसन्त कविता संग्रह है। उस पार का सूरज प्रमुख निबंध है। 

Full View

Tags:    

Similar News