पुलिस की सरपरस्ती में चल रहा जिस्मफरोशी का धंधा
गाजियाबाद ! शहर के बजरिया इलाके में होटलों में छापेमारी के दौरान बड़ी संख्या में संदिग्ध परिस्थितियों में पकड़े गए जोड़ों का मामला नया नहीं है।;
गाजियाबाद ! शहर के बजरिया इलाके में होटलों में छापेमारी के दौरान बड़ी संख्या में संदिग्ध परिस्थितियों में पकड़े गए जोड़ों का मामला नया नहीं है। पूर्व में भी वरिष्ठ अधिकारियों के आदेश पर होटलों पर छापेमारी होती रही है। इसके बावजूद होटलों में अवैध काम बंद नहीं हो रहे हैं। जिले में होटलों में जिस्मफरोशी का धंधा पुलिस की सरपरस्ती में फल-फूल रहा है।
खासकर बजरिया की बात करें तो यहां पिछले करीब एक दशक में होटल कारोबार काफी तेजी से बढ़ा है। बजरिया के अधिकांश होटलों में पुलिसकर्मी रहते हैं और उन्होंने होटलों के कमरों को अपना अस्थाई आवास बनाया हुआ है। इसके चलते होटलों पर सख्ती नहीं हो पाती है और होटल संचालक नियमों का उल्लंघन कर अवैध धंधे संचालित कराते हैं। बजरिया में होटलों की बड़ी संख्या के लिहाज से देखा जाए तो गाजियाबाद पर्यटन सिटी नहीं है और न ही यहां कोई ऐसा संस्थान है कि जहां लोग दूर-दराज से आते है और होटल में रुकते हों, इसके बाद भी पिछले करीब एक दशक में बजरिया में होटलों की बाढ़ आई है और बड़ी संख्या में होटल बनाए गए। बजरिया में एक किलोमीटर में ही 31 होटल बने हैं।
घंटों के हिसाब से कमरे किए जाते हैं बुक
जिले के अधिकांश होटलों व लॉज में दिन के हिसाब से नहीं बल्कि घंटों के हिसाब से कमरे बुक किए जाते हैं। होटल संचालक घंटों के हिसाब से होटल बुक करके मोटा मुनाफा कमाते हैं। होटल के कमरों के चार्ज भी प्रति घंटा के हिसाब से लिए जाते हैं, कमरों में ही होटल प्रबंधन द्वारा अवैध रूप से शराब व अन्य सामान उपलब्ध कराया जाता है। इसके लिए होटलों के बाहर एजेंट भी खड़े किए जाते हैं जो ग्राहकों को लेकर आते हैं।
होटलों में उपलब्ध कराई जाती हैं युवतियां
जिले के कई होटल अवैध धंधों के लिए बदनाम हो चुके हैं। इसके बावजूद पुलिस इन होटलों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रही है। इन होटलों के संचालकों द्वारा होटलों में ही युवतियां उपलब्ध कराई जाती हैं और जिस्मफरोशी का धंधा सरेआम चलता है।
बजरिया के लोगों की मानें तो होटलों के बाहर ही युवतियों को खड़ा किया जाता है और वह ग्राहकों को अपनी और आकर्षित कर उन्हें होटलों में लेकर जाती हैं।
पूर्व में हुआ था सनसनीखेज पर्दाफाश
वर्ष 2013 में पुलिस-प्रशासन ने बजरिया के होटलों में छापेमारी कर बड़ी संख्या में जोड़ों को पकड़ा था। इस दौरान उजागर हुआ था कि जिस होटल छापेमारी हुई थी, उसमें बड़ी संख्या में पुलिसकर्मी रह रहे थे। तत्कालीन एसएसपी धर्मेंद्र सिंह ने आदेश दिया था कि यदि कोई पुलिसकर्मी किसी होटल में रहता हुआ पाया गया तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसके बाद पुलिसकर्मियों में हडक़ंप की स्थिति रही थी। दो माह पूर्व एसएसपी दीपक कुमार ने व्यापारियों व कोतवाली क्षेत्र के गणमान्य लोगों के साथ घंटाघर रामलीला मैदान में जनता संवाद का आयोजन किया था। इस दौरान बजरिया के लोगों व व्यापारियों ने होटलों में चल रहे जिस्मफरोशी के धंधे का मामला उठाया था। एसएसपी ने नगर कोतवाली प्रभारी व चौकी प्रभारी को तत्काल प्रभाव से काबू पाने के निर्देश दिए थे। इसके बावजूद होटलों में अवैध धंधे संचालित हो रहे थे।