गुवाहाटी हाईकोर्ट ने अभद्र भाषा मामले में सुब्रमण्यम स्वामी पर फैसला सुरक्षित रखा
गुवाहाटी उच्च न्यायालय ने गुरुवार को भाजपा के राज्यसभा सदस्य सुब्रमण्यम स्वामी के खिलाफ दायर एक याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया;
गुवाहाटी। गुवाहाटी उच्च न्यायालय ने गुरुवार को भाजपा के राज्यसभा सदस्य सुब्रमण्यम स्वामी के खिलाफ दायर एक याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया। मार्च, 2015 में असम में एक समारोह में स्वामी ने कथित रूप से दूसरे धर्मो के प्रति 'अभद्र भाषा' का इस्तेमाल किया था। वह करीमगंज की एक अदालत में दायर मामले के सिलसिले में उच्च न्यायालय के समक्ष पेश हुए।
पूर्व केंद्रीय मंत्री ने मार्च, 2015 में असम विश्वविद्यालय में आयोजित एक समारोह में कथित तौर पर कहा था कि 'मस्जिद और चर्च केवल इमारतें हैं और इन्हें तोड़ा जा सकता है'। उनके इस बयान पर एक वकील ने प्राथमिकी दर्ज कराई थी।
उन्होंने करीमगंज में अतिरिक्त न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत द्वारा शुरू की गई पूरी कार्यवाही को रद्द करने के लिए याचिका दायर की थी।
अदालत में स्वामी की मदद करने वाले अधिवक्ता सत्य सभरवाल ने कहा कि मामले को गुरुवार को अंतिम सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया था और दोनों पक्षों ने अपने तर्क दिए थे।
दोनों पक्षों को सुनने के बाद न्यायमूर्ति मनीष चौधरी ने फैसला सुरक्षित रख लिया।