वन विभाग जंगल में हाथियों का मनपसंद खाना देने की तैयारी कर रहा

छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में जंगली हाथियों का उत्पात कम करने के लिए वन विभाग अब उन्हें जंगल में उनका मनपसंद खाना देने की तैयारी कर रहा है;

Update: 2017-09-26 12:40 GMT

पत्थलगांव। छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में जंगली हाथियों का उत्पात कम करने के लिए वन विभाग अब उन्हें जंगल में उनका मनपसंद खाना देने की तैयारी कर रहा है। 

विभाग ने जंगल के नदी-नालों और जलाशयों के पास प्राकृतिक रूप से उगने वाली घास और पर्याप्त पानी के पुख्ता इंतजाम की तैयारी शुरू कर दी है। इसके लिए विभाग वनस्पति शास्त्र के वैज्ञानिकों से भी मदद ले रहा है। जिले में इस कार्ययोजना के लिए पहले चरण में तपकरा और दुलदुला क्षेत्र को चिन्हांकित करते हुए नदी किनारे के क्षेत्र में स्थानीय घास रोंपने की तैयारी की जा रही है। 

जशपुर वन मंडल अधिकारी पंकज राजपूत ने बताया कि खरीफ की फसल पक कर तैयार होने के बाद आबादी क्षेत्र में जंगली हाथियों के पहुंच कर उत्पात मचाने की घटना को लेकर विभाग काफी चिंतित है।

जंगली हाथियों के उत्पात वाले क्षेत्र के जंगल, नदी नाले और जलाशयों के आस-पास इन वन प्राणियों की मनपसंद घास उगाने और संरक्षित करने से आबादी क्षेत्र में नुकसान को कम किया जा सकता है।

वनस्पति विज्ञानियों ने घास की 17 प्रजातियों की पहचान कराई है।  उन्होंने बताया कि जंगल में जलजमाव वाले क्षेत्र में वर्ष भर नमी रहती है। ऐसे नमीयुक्त क्षेत्र में बगैर अतिरिक्त खर्चे के ही हरे चारे की व्यवस्था की जा सकती है। 

वहीं वन संरक्षक केके बिसेन का कहना है कि जंगली हाथियों की समस्या से प्रभावित अभयारण्य तैमौर पिंगला, गुरू घासीदास सहित अन्य क्षेत्र में यह प्रयोग पहले ही कर लिया है। जंगली हाथियों की मनपसंद घास के सहारे इन वन प्राणियों को जंगल के भीतर रोकने में सफलता भी मिली है। 

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