हादी के समर्थकों ने यूनुस सरकार को 24 घंटे का दिया अल्टीमेटम, बोले-"हत्यारों की गिरफ्तारी नहीं हुई तो धरना देंगे"
इकबाल मंच के प्रवक्ता और ढाका-8 के निर्दलीय उम्मीदवार शरीफ उस्मान हादी की मौत के बाद से बांग्लादेश में अराजकता फैली हुई है। हत्यारोपियों की अब तक गिरफ्तारी न होने से कट्टरपंथी संगठन का गुस्सा बढ़ता जा रहा है। ऐसे में इंकलाब मंच ने आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार को 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया है;
हादी के समर्थकों ने यूनुस सरकार को दिया रविवार शाम तक का अल्टीमेटम, हत्यारों की गिरफ्तारी की मांग
ढाका। इकबाल मंच के प्रवक्ता और ढाका-8 के निर्दलीय उम्मीदवार शरीफ उस्मान हादी की मौत के बाद से बांग्लादेश में अराजकता फैली हुई है। हत्यारोपियों की अब तक गिरफ्तारी न होने से कट्टरपंथी संगठन का गुस्सा बढ़ता जा रहा है। ऐसे में इंकलाब मंच ने आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार को 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया है।
हादी के सुपुर्द ए खाक होने के बाद इंकलाब मंच ने यूनुस सरकार को यह अल्टीमेटम दिया। कट्टरपंथी समूह के नेताओं ने कहा, "अगर रविवार शाम 5:15 बजे तक शरीफ उस्मान हादी के हत्यारों की गिरफ्तारी के बारे में सरकार की ओर से कोई जवाब नहीं आता है, तो हम शाहबाग में एक और धरना देंगे।"
इससे पहले शनिवार को ढाका के शाहबाग चौराहे पर हादी के हजारों समर्थक इकट्ठा हो गए। बांग्लादेशी अखबार द ढाका ट्रिब्यून की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इकबाल मंच ने यह भी मांग की कि मशहूर शाहबाग चौराहे का नाम बदलकर 'हादी चोट्टोर' कर दिया जाए।
12 दिसंबर को ढाका के पलटन इलाके में बाइक सवार दो हमलावरों ने हादी के सिर पर गोली मारी थी। इस घटना में हादी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। सिंगापुर में इलाज के दौरान गुरुवार रात को उसकी मौत हो गई थी। पार्थिव शरीर शुक्रवार को बांग्लादेश वापस लाया गया। हादी की मौत के बाद बांग्लादेश में जगह-जगह आगजनी और हिंसा की घटना देखने को मिली। खासतौर से कई मीडिया संस्थानों को निशाना बनाया गया।
इस बीच, यूनुस ने हादी के आदर्शों को आगे बढ़ाने की कसम खाई और उनके समर्थकों को भरोसा दिलाया कि हादी का विजन उनकी मौत के साथ फीका नहीं पड़ेगा। यूनुस ने कहा कि वह हादी के सपने को पूरा करेंगे और यह सुनिश्चित करेंगे कि इसे पीढ़ियों तक आगे बढ़ाया जाए।
द डेली स्टार के अनुसार, यूनुस ने कहा, "ओ प्यारे उस्मान हादी, हम यहां आपको अलविदा कहने नहीं आए हैं। आप हमारे दिलों में रहते हैं और जब तक बांग्लादेश है, आप सभी बांग्लादेशियों के दिलों में रहेंगे। कोई आपको वहां से मिटा नहीं सकता। आज लाखों लोग यहां इकट्ठा हुए हैं, जबकि बांग्लादेश और विदेशों में रहने वाले करोड़ों बांग्लादेशी हादी के बारे में सुनने का इंतजार कर रहे हैं।"