डायरिया,लू के मरीज बढ़े,अस्पतालों में जगह नहीं
बिलासपुर ! डायरिया और लू के मरीजों की संख्या जिला चिकित्सालय और सिम्स में लगातार बढ़ती जा रही है। पानी और भीषण गर्मी के चलते बीमार पड़ रहे लोगों का आंकड़ा 100 पार हो चुका है।;
बिलासपुर ! डायरिया और लू के मरीजों की संख्या जिला चिकित्सालय और सिम्स में लगातार बढ़ती जा रही है। पानी और भीषण गर्मी के चलते बीमार पड़ रहे लोगों का आंकड़ा 100 पार हो चुका है। सिम्स व जिला चिकित्सालय प्रबंधन अस्पताल में उपचार के लिए जरुरी दवाईयां होने की बात कह रहे हैं।
शहर से लगे सिरगिट्टी, मंगला, चांटीडीह में डायरिया का प्रकोप काफी तेजी के साथ फैल रहा है। सिम्स व जिला अस्पताल में इस क्षेत्र से अब तक दो दर्जन से अधिक लोग पहुंच चुके हैं। वहीं तालापारा, सरकंडा, चांटीडीह, कुदुदंड से भी डायरिया के मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं। सिम्स व जिला अस्पताल में रोजाना एक दर्जन डायरिया व लू से ग्रसित पीडि़त मरीज उपचार के लिए पहुंच रहे हैं।
सिम्स चिकित्सा अधीक्षक डा.रमणेश मूर्ति ने बताया कि डायरिया व लू के मरीजों के पहुंचने का सिलसिला जारी है। जो मरीज भर्ती होने की स्थिति में है उन्हें भर्ती कर उपचार किया जा रहा है और जिनमें लक्षण हैं उन्हें दवाईयों के साथ ही ओआरएस का घोल और दवाईयां देकर आराम करने की सलाह दी जा रही है। उन्होंने यह भी कहा कि लू के भी मरीज आ रहे हैं। अभी तक किसी को भी वार्ड में भर्ती करने जैसे हालात देखने को नहीं मिले हैं। वहीं लोगों को पूरे शरीर को ढंक कर रखने के साथ ही साफ और गरम खाना खाने को कहा जा रहा है। जिससे मौसमी बीमारियों से बचा जा सके।
जिला चिकित्सालय के सिविल सर्जन डा.एस एस बाजपेयी ने बताया कि जो भी मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं उनका उपचार किया जा रहा है। वहीं दवाईयां स्टाक से अधिक मात्रा में मंगा ली गई है। मौसमी बीमारी है। मरीजों का आना-जाना लगा हुआ है। लेकिन उपचार में किसी प्रकार की लापरवाही बरतने की कोई संभावना नहीं है। मरीजों को गर्मी से राहत देने के लिए सभी वार्डों में कूलर पंखों को मरम्मत करा लिया गया है। वहीं वार्डों में छोटे मोट सुधार कार्य जारी हैं।
वार्डों के बेड नहीं हो रहे खाली
सिम्स व जिला अस्पताल में मरीजों की संख्या दिनों-दिन बढ़ती जा रही है। इससे सभी वार्ड में बेड खाली नहीं हैं। हर दिन 5 से 10 मरीजों को बेड खाली नहीं होने से केजुअल्टी से ही वापस भेजा रहा है। इससे अन्य मरीज निजी अस्पताल भी उपचार के लिए पहुंच रहे हैं। वहीं सिम्स के जनरल वार्ड, मेल मेडिकल सर्जिकल वार्उ व चिल्डर्न वार्ड में भी सारे बेड फुल हैं। वहीं जिला अस्पताल के आईसोलेशन वार्ड व पेइंग वार्ड में भी पूरे बेड में मरीज भर्ती हैं। हर दिन दोनों अस्पतालों में दर्जनों लोग मौसमी बीमारी की चपेट में आ रहे हैं और अस्पताल की ओर उपचार के लिए पहुंच रहे हैं।
जनऔषधि केन्द्र में दवाइयों का टोंटा
जिला अस्पताल के जनऔषधि केन्द्र में दवाईयां खत्म हो रही है। जिससे मरीजों को दवाओं के लिए भटकना पड़ रहा है। जनऔषधि केंद्र में पिछले तीन दिनों से दवाईयों का स्टाक खत्म हो गया है जो अब तक नहीं आया है। वहीं जनऔषधि केंद्र में कार्यरत कर्मचारी के छुट्टी में चले जाने से यह भगवान भरोसे चल रहा है। रेडक्रास के एक कर्मचारी को जनऔषधि केंद्र में बैठाया गया है। कई मरीज दवा के लिए पहुंच रहे हैं। लेकिन स्टाक में दवा नहीं होने से उन्हें रेडक्रास व बाहर मेडिकल से दवाईयां खरीदनी पड़ रही है।
ड्यूटी के दौरान सोते हैं जवान
जिला अस्पताल में मरीजों की सुरक्षा व स्टाफ के साथ-साथ अस्पताल में निगरानी के लिए अस्पताल परिसर में ही पुलिस चौकी बनाया गया है। जिसमें 8 नगर सैनिक ड्यूटी करते हैं। मगर आज यह सुरक्षा गार्ड अपने चौकी से दरवाजा, खिडक़ी बंद कर कूलर की हवा ले रहे थे। जबकि इनकी ड्यूटी है कि अस्पताल परिसर में भ्रमण करे व आने जाने वालों पर कड़ी नजर रखे। मगर यह सुरक्षा गार्ड गर्मी से बचने चौकी के अंदर आराम फरमाते रहे। चौकी देखकर वो ऐसा लग रहा था जैसे यहां कोई है ही नहीं। जबकि दो दिन पूर्व ही दो महिलाओं के पर्स चोरी हो चुके हैं।