हमारी सभ्यता का अंतिम उद्देश्य प्रगति करना है : प्रणव मुखर्जी

राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने आज कहा कि खुशी और शांति एक दूसरे के पूरक हैं और एक दूसरे के बिना इनका कोई अस्तित्व में नहीं है;

Update: 2017-04-27 15:17 GMT

हैदराबाद| राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने आज कहा कि खुशी और शांति एक दूसरे के पूरक हैं और एक दूसरे के बिना इनका कोई अस्तित्व में नहीं है। श्री मुखर्जी ने वैश्विक सौहार्द के लिये काम कर रहे प्रजापति ब्रह्म कुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय में एक समारोह को संबोधित करते हुये यह बात कही।

उन्होंनेे ब्रह्म कुमारी संगठन के मूल उद्देश्य पुरुष से पुरुष के,महिला से महिला के,पुरुष से महिला के,भाई से बहन के बीच शांति और सौहार्द के लिये काम करने की सराहना की। श्री मुखर्जी ने कहा,“ हमारी सभ्यता का अंतिम उद्देश्य प्रगति करना है।

हम आर्थिक प्रगति चाहते हैं। हम तकनीकी विकास चाहते हैं। हम वैज्ञानिक तरीके से ज्ञान की प्राप्ति करना चाहते हैं लेकिन अंत में सभी चीज एक बिंदू पर आकर समाप्त होती हैं कि हम लोगों और मानवता की शांति खुशी चाहते हैं। ” इससे पहले राष्ट्रपति को ब्रह्म कुमारी संगठन की ओर से सम्मानित भी किया गया।

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