रमजान संघर्षविराम के लिए भारत प्रतिबद्ध : रक्षामंत्री सीतारमण

रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कहा कि जम्मू एवं कश्मीर में सुरक्षा बल रमजान संघर्षविराम का सम्मान करेंगे;

Update: 2018-06-05 20:54 GMT

नई दिल्ली। रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को कहा कि जम्मू एवं कश्मीर में सुरक्षा बल रमजान संघर्षविराम का सम्मान करेंगे, लेकिन पाकिस्तान के साथ सीमा पर 'बिना उकसावे' के किसी भी कार्रवाई का करारा जवाब दिया जाएगा। निर्मला ने यहां पत्रकारों से कहा, "जब भी बिना उकसावे का हमला किया जाएगा, सेना को उसका जवाब देने का अधिकार दिया गया है। हम संघर्षविराम का सम्मान करते हैं लेकिन जब बिना उकसावे का हमला किया जाएगा तो निश्चित तौर पर हमें भी इसका जवाब देने का अधिकार है। संघर्षविराम भारत सरकार का निर्णय है और हम इसका पालन करते हैं।"

यह पूछे जाने पर कि क्या रक्षा मंत्रालय और भारतीय सेना रमजान के महीने में गृह मंत्रालय के आतंकवादियों के खिलाफ अभियान न चलाने के निर्णय में शामिल था, पर उन्होंने कहा कि उनके मंत्रालय और सेना को 'विश्वास में लिया गया और हमने इस पर गृह मंत्रालय के विचार का समर्थन किया है।'

यह पूछे जाने पर कि क्या राज्य में रमजान के बाद भी संघर्षविराम को बढ़ाया जा सकता है, पर उन्होंने कहा, "जम्मू एवं कश्मीर में संघर्ष विराम सफल रहा या नहीं, यह निर्धारित करना उनका काम नहीं है और इसके बारे में निर्णय भारत सरकार को करना है।"

पाकिस्तान के साथ सीमा पर लगातार गोलीबारी के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि भारत दोनों देशों के बीच 2003 के संघर्षविराम समझौते को लेकर प्रतिबद्ध है।

निर्मला ने कहा, "सैन्य अभियानों के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान ने 29 मई को अपने पाकिस्तानी समकक्ष मेजर जनरल शाहिर शमशाद मिर्जा से हॉटलाइन के जरिए बातचीत की थी।"

साथ ही, उन्होंने कहा कि भारतीय सीमा सुरक्षा के साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा।

रक्षामंत्री ने कहा, "हम अपनी सीमाओं को सुरक्षित रखेंगे, क्योंकि सशस्त्र सेनाओं का काम हमारी सीमा की हिफाजत करना और शांति बनाए रखना है, लेकिन यह तब तक होगा, जब तक वे 'हमें जवाबी कार्रवाई' के लिए उकसाते नहीं हैं।" 

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