बांग्लादेशियों को भारत में प्रवेश कराने वाला दलाल गिरफ्तार

अवैध रूप से बांग्लादेशियों को भारत में प्रवेश कराने वाले दलाल को सिहानी गेट पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया;

Update: 2018-02-19 15:49 GMT

गाजियाबाद। अवैध रूप से बांग्लादेशियों को भारत में प्रवेश कराने वाले दलाल को सिहानी गेट पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।

पुलिस के मुताबिक आरोपी अब तक 500 से ज्यादा लोगों को अवैध रूप से भारत में प्रवेश करा चुका है। तीन दिन पहले घूकना से गिरफ्तार तीन बांग्लादेशी नागरिकों को भी यही दलाल लेकर आया था। पुलिस ने आरोपी के पास से फर्जी कागजात के जरिए बनाया गया आधार कार्ड और मतदाता पहचान पत्र के साथ बांग्लादेश के पहचान पत्र भी बरामद किए हैं।

सिहानी गेट पुलिस ने गुरुवार को अवैध रूप से नंदग्राम में रह रही रेखा निवासी बांग्लादेश को भाई ईशा अली और बेटे शकील के साथ गिरफ्तार किया था। पूछताछ में आरोपियों ने पुलिस को बताया था कि सीमा पार से बिना पासपोर्ट भारत लाने के लिए एक दलाल ने उनकी मदद की थी। थाना प्रभारी विनोद पांडेय ने बताया कि सूचना के आधार पर शनिवार शाम को पुराने बस अड्डे के पास से माशूक खान निवासी भनिया खली जिला बागरहट बांग्लादेश को गिरफ्तार किया गया।

इसके पास से मिले आधार कार्ड में इसका नाम साहिल निवासी दल्लूपुरा दिल्ली है। आरोपी ने बताया कि उसने फर्जी दस्तावेजों के सहारे आधार कार्ड समेत कई सरकारी पहचान पत्र बनवा लिए हैं। आरोपी से बांग्लादेश का एक नोट भी बरामद हुई है। माशूक ने बताया कि रुपए लेकर वो चोरी छुपे बांग्लादेशियों को भारत लाता है और यहां पर नाम पता बदलवाकर फर्जी कागजात बनवा देता था।

इन दस्तावेजों की मदद से भारतीय पहचान पत्र बनवा देता है, जिससे उनको आसानी से नौकरी मिल जाती है। आरोपी अब तक 500 से ज्यादा लोगों को भारत में प्रवेश करवा चुका है।

आरोपी के मुताबिक रोजगार के लिए कई बांग्लादेशी चोरी छुपे भारत आते हैं। पासपोर्ट और वीजा के झंझट से बचने के लिए लोग उसका सहारा लेते हैं। असम और बांग्लादेश के सीमावर्ती जिलों से चोरी छुपे भारत में प्रवेश करवाने के लिए दलाल प्रति व्यक्ति करीब पांच हजार रुपए लेता है। जंगल के रास्ते होते हुए नदी पार करवाकर वह कोलकता लाकर छोड़ने की जिम्मेदारी लेता था।

शहर में फर्जी कागजातों से आधार कार्ड बन रहे

गिरफ्तार आरोपी ने स्थानीय अभिसूचना इकाई (एलआइयू) को बताया कि उसने नंदग्राम स्थित आधार शिविर में संचालक को प्रति आधार कार्ड डेढ़ सौ रुपए देकर कई आधार कार्ड बनवाए हैं। 

डेढ़ सौ रुपए लेकर संचालक फर्जी कागज तैयार करवा कर आधार कार्ड बना देता था। आरोपी ने पुलिस को ऐसे कई आधार शिविरों के बारे में जानकारी दी है, जहां बिना मूल कागजों की जांच के जानबूझकर फर्जी कागज लेकर आधार कार्ड बनाया जा रहा है। क्षेत्राधिकारी द्वितीय आतिश सिंह ने बताया कि मामले की रिपोर्ट शासन को भेजी जाएगी।

नाम बदलकर दे रहे हैं धोखा 

माशूक ने बताया कि जिन लोगों को वो बांग्लादेश से भारत लाता था, उनके नाम बदलकर हिंदू नाम रखवा देता था।

दलाल ने बताया कि हिंदू नाम होने की वजह से इन लोगों के आइडी प्रूफ बनवाने से लेकर निजी संस्थानों में नौकरी दिलवाने में आसानी होती है।

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