मध्यप्रदेश और ओडिशा उपचुनाव में बीजेपी की हार, कांग्रेस की जीत
मध्यप्रदेश और ओडिशा के विधानसभा उपचुनाव को लेकर बीजेपी ने दावा किया था, कि ये होली जीत की होली होगी, लेकिन नतीजों ने बीजेपी की होली के रंग को फीका कर दिया है।;
नई दिल्ली। मध्यप्रदेश और ओडिशा के विधानसभा उपचुनाव को लेकर बीजेपी ने दावा किया था, कि ये होली जीत की होली होगी, लेकिन नतीजों ने बीजेपी की होली के रंग को फीका कर दिया है।
दोनों ही राज्यों में बीजेपी की बड़ी हार हुई है। मध्यप्रदेश में कोलारस और मुंगावली सीट पर कांग्रेस ने जीत का परचम लहराया, तो वहीं ओडिशा में सत्तारुढ़ बीजेडी ने बाजी मारी है। ये हार 2019 से पहले बीजेपी के लिए खतरे की घंटी है।
ओडिशा में तो पहले ही बीजेडी की जीत मानी जा रही थी, लेकिन मध्यप्रदेश बीजेपी का वो अभेद किला है, जिसमें पिछले 15 सालों से कोई सेंध नहीं लगा पाया है। पिछले तीन बार से शिवराज का राज है और वो इस साल दिसंबर में होने वाले विधानसभा चुनाव में भी जीत का चौका लगाने के सपने देख रहे हैं, लेकिन वो इतना आसान नजर नहीं आ रहा है, क्योंकि उपचुनाव में ही जब बीजेपी के हाथ में कोई सीट नहीं आई तो आने वाले चुनाव की राह तो मुश्किल होगी ही...जीहां इस उपचुनाव को सेमीफाइल माना जा रहा था...जिसमें बीजेपी की बुरी हार हुई है।
कोलारस और मुंगावली सीट पर शिवराज बीजेपी का कमल खिलाने में नाकाम साबित हुए है। मुंगावली सीट पर कांग्रेस के बृजेंद्र सिंह यादव ने बीजेपी के साहब यादव को मात दी है, वहीं कोलारस में महेंद्र सिंह यादव ने बीजेपी के देवेंद्र कुमार जैन को हराकर कांग्रेस की परंपरागत सीट को बचाया है, वहीं ओडिशा में भी बीजेपी सेंधमारी के सपने देख रही थी...लेकिन सत्तारुढ़ बीजेडी ने उसके अरमानों पर पानी फेर दिया।
बीजापुर सीट पर लगभग 42 हजार वोटों के अंतर से BJD की रीतारानी ने जीत का डंका बजाया है। 21 चरणों की मतगणना में रीतारानी साहू को 1 लाख 2 हजार 871 वोट मिलेहै, जबकि बीजेपी के अशोक पनगढ़ी को कुल 60,938 वोट मिले जीत के बाद सीएम नवीन पटनायक ने कहा कि जीत तो हमारी ही होनी थी...वैसे दोनों राज्यों में बीजेपी की हार 2019 में भी राह को मुश्किल बना सकती है।