'अटल विचार मंच' दल चंदा नहीं वसूलेगा: यशवंत सिन्हा

पूर्व विदेश और वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की विचारधारा पर आधारित एक नई राजनीतिक पार्टी का गठन किया। उन्होंने पार्टी की सदस्यता ग्रहण करते हुए फॉर्म भरा और पहले सदस्य बने।;

Update: 2024-09-16 15:17 GMT

हजारीबाग। पूर्व विदेश और वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की विचारधारा पर आधारित एक नई राजनीतिक पार्टी का गठन किया। उन्होंने पार्टी की सदस्यता ग्रहण करते हुए फॉर्म भरा और पहले सदस्य बने।

झारखंड के हजारीबाग में 'अटल विचार मंच' नाम से राजनीतिक पार्टी की शुरुआत करते हुए सिन्हा ने कहा कि चूंकि यह एक राजनीतिक दल है, इसलिए यह स्पष्ट है कि अटल विचार मंच चुनाव लड़ेगा। अटल विचार मंच कोई स्वयंसेवी संगठन या चंदा वसूलने की पार्टी नहीं है। यह पूर्ण रूप से राजनीतिक दल होगा। आज की भाजपा अटल जी के विचारों से भटक चुकी है, इसलिए इस नए दल के गठन की जरूरत पड़ी। कोई दल अगर हमारा मित्र दल बनना चाहता है तो उसके लिए भी हमारे दरवाजे खुले हैं।

उन्होंने ऐलान किया कि, झारखंड के आगामी विधानसभा चुनाव में राज्य की सभी 81 विधानसभा सीटों पर हम चुनाव लड़ेंगे। हमने इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी हैं। जो लोग हमारे पैमाने पर खरे उतरेंगे और ईमानदार होंगे, पार्टी उन्हें चुनावी मैदान में उतारेगी। मैं व्यक्तिगत तौर पर कोई चुनाव नहीं लड़ूंगा। मैंने जब राष्ट्रपति पद का चुनाव लड़ा था, तब ही ऐलान कर दिया था कि मैं अब कोई चुनाव नहीं लड़ूंगा। हमारे साथी और सहयोगी चुनाव लड़ेंगे।

असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा को लेकर उन्होंने कहा कि वो माहौल खराब करने के लिए झारखंड में कैंप कर रहे हैं। भाजपा की कोशिश झारखंड में दंगा कराने की है, जिसका लाभ उन्हें चुनाव में मिल सके। यहां की सरकार को उन पर केस करनी चाहिए। भाजपा के पास हिंदू-मुस्लिम के अलावा कोई मुद्दा नहीं है।

भाजपा छोड़ने के बाद यशवंत सिन्हा ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए थे। उन्होंने द्रौपदी मुर्मू के खिलाफ राष्ट्रपति पद का चुनाव भी लड़ा था, लेकिन उन्हें हार का सामना करना पड़ा था। जिसके बाद फिर से उन्होंने एक बार फिर सियासी सक्रियता बढ़ा दिया है।

2024 के लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने यशवंत सिन्हा के बेटे जयंत सिन्हा को हजारीबाग लोकसभा सीट से टिकट नहीं दिया, जिसके बाद यशवंत सिन्हा ने कांग्रेस उम्मीदवार जेपी पटेल को अपना खुला समर्थन दिया, जेपी पटेल भाजपा उम्मीदवार मनीष जायसवाल से बुरी तरह चुनाव हार गए।

यशवंत सिन्हा केंद्र में चंद्रशेखर और अटल बिहारी वाजपेयी की सरकारों में वित्त मंत्री और विदेश मंत्री रह चुके हैं।

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