बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे हमले, क्या कदम उठा रही सरकार: पवन खेड़ा
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पवन खेड़ा ने बांग्लादेश में हिंदुओं संग हो रही ज्यादती को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने हैरानी जताई कि सरकार को समय पर इनपुट कैसे नहीं मिला

नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पवन खेड़ा ने बांग्लादेश में हिंदुओं संग हो रही ज्यादती को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने हैरानी जताई कि सरकार को समय पर इनपुट कैसे नहीं मिला?
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पवन खेड़ा ने केंद्र सरकार पर साधा निशाना
कांग्रेस नेता ने कहा, 'मोदी सरकार पिछले 11 सालों से सत्ता में है, लेकिन हमें यह जानकर हैरानी होती है कि पड़ोसी देश में इतना सब कुछ हो गया। वहां की सरकार का तख्तापलट कर दिया गया। लोगों को सरेआम मारा जा रहा है, लेकिन इन सब घटनाओं से पहले इस सरकार को कोई इनपुट तक नहीं मिला। यह बहुत ही हैरान करने वाली बात है।'
उन्होंने आगे कहा, बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं को लगातार निशाना बनाया जा रहा है, उन पर हमले हो रहे हैं। ऐसी स्थिति में मोदी सरकार को सामने आकर यह बताना चाहिए कि वो वहां के अल्पसंख्यक हिंदुओं को बचाने के लिए क्या कदम उठा रही है। सरकार को अपना रुख स्पष्ट करना चाहिए, लेकिन यह बहुत ही निंदनीय है कि मौजूदा सरकार इस दिशा में कोई भी कदम उठाती हुई नजर नहीं आ रही है।”
"सरकार को पता होना चाहिए कि शेख हसीना को लेकर क्या कुछ कदम उठाना होगा"- पवन खेड़ा
इस बीच, जब पवन खेड़ा से शेख हसीना के बारे में सवाल किया गया। उन्होंने कहा कि ये बात तो उन्हें (मोदी सरकार) पता नहीं होनी चाहिए। सरकार को पता होना चाहिए कि शेख हसीना को लेकर क्या कुछ कदम उठाना होगा।
बता दें कि बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद शेख हसीना भारत पहुंची थीं। इसके बाद भारत में राजनीतिक हलचल तेज हो गई थी। केंद्र की मोदी सरकार ने इस संबंध में कैबिनेट बैठक बुलाई। जिसमें आगे क्या कुछ कदम उठाए जाने हैं। इस संबंध में विस्तारपूर्वक रूपरेखा तैयार की गई।
पवन खेड़ा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की किसानों संग हुई मुलाकात पर भी प्रतिक्रिया दी
पवन खेड़ा ने हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की किसानों संग हुई मुलाकात पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सामने आकर बताना चाहिए कि वो किसानों को लेकर क्या कुछ कदम उठा रही है। स्पष्ट कर देना चाहिए कि वे किसानों को लेकर क्या कुछ कदम उठाने जा रहे हैं। अगर वो ऐसा नहीं करेंगे तो उन्हें ही राजनीतिक मोर्चे पर इसका खामियाजा भुगतना होगा।


