जारी रहेगी सब्सिडी, नहीं बढ़ेगा बिल
बिजली के बिल में निर्धारित शुल्क में वृद्घि के बाद बैकफुट पर आई आम आदमी पार्टी के नेता अब यह दावा कर रहे हैं कि बिल में वृद्घि नहीं होगी;
नई दिल्ली। बिजली के बिल में निर्धारित शुल्क में वृद्घि के बाद बैकफुट पर आई आम आदमी पार्टी के नेता अब यह दावा कर रहे हैं कि बिल में वृद्घि नहीं होगी। पार्टी के वरिष्ठ नेता, दिल्ली सरकार में बिजली मंत्री सत्येंद्र जैन ने आज जोर देकर कहा कि सरकार की सब्सिडी जारी रहेगी।
उन्होने बताया कि पहले स्लैब में सब्सिडी पार्ट पहले 200 यूनिट तक 2 रुपए मिलता था वो बदस्तूर जारी रहेगा।यहां बिजली प्रति यूनिट सिर्फ 1 रुपए के दाम पर ही लोगों को मिलेगी तो वहीं 200 से 400 यूनिट तक जहां पहले 3 रुपए सब्सिडी का हिस्सा रहता था वो भी ऐसे ही जारी रहेगा और यहां प्रति यूनिट के दाम 1 रुपए 50 पैसे होंगे।
श्री जैन ने बताया कि इस हिसाब से अब सब्सिडी का प्रतिशत 50 से ज्यादा हो गया है क्योंकि सब्सिडी का बजट पहले से ही तय है। उन्होने बताया कि दिल्ली में पहले एक से लेकर 200 यूनिट तक जहां 4 रुपए प्रति यूनिट रेट था वहां अब 1 रुपए प्रति यूनिट दाम कम हो गए हैं और दाम 3 रुपए प्रति यूनिट हो गए हैं, जबकि 200 यूनिट से लेकर 400 यूनिट तक के लिए अब 1 रुपए 45 पैसे प्रति यूनिट कम होकर 4.50 रुपए हो गए हैं।
सत्येंद्र जैन ने कहा कि देश के दूसरे कई राज्यों में बिजली बहुत मंहगी मिलती हैं। मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में बिजली के दाम दिल्ली के मुकाबले कई गुना ज्यादा हैं। कई जगह पर चुनाव हो जाने के बाद बिजली के दाम बढ़ाए गए हैं। आप नेता ने दावा किया कि पंजाब में कांग्रेस सरकार ने ऐसा किया और उत्तर प्रदेश में बीजेपी की सरकार ने ऐसा किया। लेकिन दिल्ली की आम आदमी पार्टी की ही सरकार ऐसी है जो बिजली के दाम बढ़ाने की बजाए घटाती है क्योंकि दिल्ली की केजरीवाल सरकार दिल्ली की जनता की सरकार है और जनता के लिए ही काम करती है।
बता दें कि मंगलवार को दिल्ली विद्युत विनियामक आयोग ने राजधानी में बिजली के दाम प्रति यूनिट कम किए हैं लेकिन निर्धारित शुल्क में छह गुना से अधिक वृद्घि की है और इससे विपक्षी दलों के तेवर आक्रमक हो गए हैं। रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन की संस्था यूआरडी के महामंत्री सौरभ गांधी ने कहा कि सरकार 50 प्रतिशत के हिसाब से नहीं रूपयों के हिसाब से सब्सिडी दे रही है और हमारे दबाव के चलते ही आज उसे स्पष्टï करना पड़ा।