जम्मू-कश्मीर में पिछले 24 घंटों में पीडीपी के तीन नेता हुए गिरफ्तार
जम्मू-कश्मीर पुलिस ने पिछले 24 घंटों के दौरान पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के एक और नेता एवं पूर्व मंत्री नईम अख्तर को गिरफ्तार किया है जिसे मिलाकर पुलिस ने पीडीपी के अब तक तीन नेताओं को गिरफ्तार कर चुकी हैं;
श्रीनगर । जम्मू-कश्मीर पुलिस ने पिछले 24 घंटों के दौरान पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के एक और नेता एवं पूर्व मंत्री नईम अख्तर को गिरफ्तार किया है जिसे मिलाकर पुलिस ने पीडीपी के अब तक तीन नेताओं को गिरफ्तार कर चुकी हैं। आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी। जम्मू-कश्मीर पुलिस ने इससे पहले सोमवार को पीडीपी के दो नेता सरताज मदनी और पीरज़ादा मंसूर को गिरफ्तार किया था। पीडीपी की अध्यक्ष महबूबा मुफ़्ती ने पीडीपी नेताओं की गिरफ्तारी पर प्रतिक्रिया देते हुए इसे प्रदेश में लोकतंत्र की हत्या करार दिया है।
सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने भाजपा-पीडीपी की गठबंधन सरकार के दौरान सरकार के प्रवक्ता रहे नईम अख्तर को सोमवार रात उनके घर से गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार अख्तर के परिजनों ने हालांकि आरोप लगाया है कि पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार करते हुए गिरफ्तारी वारंट या कोई अन्य दस्तावेज नहीं दिखाया था।
महबूबा मुफ़्ती ने इन गिरफ्तारियों को लेकर ट्वीट कर कहा, "जम्मू-कश्मीर प्रशासन आज गिरफ्तारी अभियान पर है। पीडीपी नेता नईम अख्तर को जम्मू-कश्मीर पुलिस ने उनके घर से उठा लिया गया है और उन्हें विधायक हॉस्टल ले गई है। ऐसा लग रहा है कि भाजपा जिला विकास परिषद (डीडीसी) के नतीजों को प्रभावित करना चाहती है और वह कोई प्रतिरोध नहीं चाहते। जम्मू-कश्मीर में लोकतंत्र की हत्या की जा रही है।"
J&K admin is on an arrest spree today. PDPs Nayeem Akhtar too has been abducted by J&K police & is being taken to MLA hostel. Looks like BJP is planning to manipulate DDC results tomorrow & don’t want any resistance. Democracy is being murdered in J&K.@manojsinha_ @JmuKmrPolice
पीडीपी नेता अख्तर की बेटी शहरयार खानम ने भी ट्वीट कर कहा कि उनके पिता को अचानक पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया और उन्हें गिरफ्तारी से संबंधित कोई दस्तावेज भी नहीं दिखाया गया। उन्होंने कहा, "हमें गिरफ्तारी का कारण और कब तक के लिए किया गया है, यह तक भी नहीं पता।"
उल्लेखनीय है कि अख्तर मुख्यधारा के उन नेताओं में एक थे जिन्हें जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 समाप्त किये जाने के बाद सबसे आखिर में नजरबंदी से रिहा किया गया था।