महिला और बाल विकास मंत्रालय को 24,700 करोड़ रुपये

वित्त वर्ष 2018-19 के आम बजट में गुरुवार को महिला और बाल विकास (डब्ल्यूसीडी) मंत्रालय को 24,700 करोड़ रुपये आवंटित किए गए, जो पिछले बजट की तुलना में 2,606 करोड़ रुपये या 12 फीसदी अधिक है;

Update: 2018-02-02 00:14 GMT

नई दिल्ली। वित्त वर्ष 2018-19 के आम बजट में गुरुवार को महिला और बाल विकास (डब्ल्यूसीडी) मंत्रालय को 24,700 करोड़ रुपये आवंटित किए गए, जो पिछले बजट की तुलना में 2,606 करोड़ रुपये या 12 फीसदी अधिक है। हालांकि साल 2017-18 में, डब्ल्यूसीडी मंत्रालय के लिए कुल 22,094 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया था, जबकि 21,236 करोड़ रुपये जारी किए गए। 

वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा गुरुवार को पेश किए गए इस साल के बजट का एक प्रमुख हिस्सा आईसीडीएस कार्यक्रमों के लिए निर्धारित किया है, जिसके तहत चलाई जा रही राष्ट्रीय पोषण कार्यक्रम को 3,000 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं, जबकि चालू वित्त वर्ष के लिए यह राशि 950 करोड़ रुपये है। 

महिलाओं की सुरक्षा और सशक्तीकरण के लिए महिला शक्ति केंद्र को 267 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं, जबकि पिछले बजट में 64 करोड़ रुपये दिए गए थे। वहीं, निर्भया कोष में स्थानांतरण के लिए 500 रुपये प्रदान किए गए हैं। 

अन्य योजनाओं जैसे - बाल संरक्षण सेवाओं, राष्ट्रीय क्रेच योजना, स्वाधार ग्रेह योजना, उज्जवला योजना, आंगनवाड़ी सेवाओं, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, कामकाजी महिला छात्रावास और सूचना और मास कम्यूनिकेशन को भी पिछली बार की तुलना में इस बजट में अधिक धन का आवंटन किया गया है।

केंद्रीय महिला और बाल विकास मंत्री मेनका गांधी ने कहा, "आवंटन में बढ़ोतरी से मंत्रालय को विभिन्न योजनाओं के विस्तार के माध्यम से कुपोषण से लड़ने और महिलाओं और बच्चियों को सुरक्षा मुहैया कराने में मदद मिलेगी।"

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