टॉयकैथॉन में आईटीएम विवि नोडल सेंटर की तीन टीमें बनी राष्ट्रीय विजेता

नेशनल  गेम चैलेंज टॉयकैथॉन 2021 के डिजिटल एडिशन में आईटीएम विश्वविद्यालय रायपुर नोडल सेंटर  की  तीन टीमें  राष्ट्रीय विजेताओं में शुमार हुई हैं जिसमें कृषि पब्लिक स्कूल डुंडा रायपुर भी शामिल है;

Update: 2021-06-27 09:27 GMT

रायपुर। नेशनल  गेम चैलेंज टॉयकैथॉन 2021 के डिजिटल एडिशन में आईटीएम विश्वविद्यालय रायपुर नोडल सेंटर  की  तीन टीमें  राष्ट्रीय विजेताओं में शुमार हुई हैं जिसमें कृषि पब्लिक स्कूल डुंडा रायपुर भी शामिल है।

टॉयकैथॉन 2021 एआईसीटीई , महिला एवं  बाल विकास मंत्रालय, वाणिज्य एवं  उद्योग मंत्रालय, एमएसएमई मंत्रालय, कपड़ा मंत्रालय और सूचना मंत्रालय के सहयोग से शिक्षा मंत्रालय के नवाचार प्रकोष्ठ द्वारा आयोजित एक अंतर-मंत्रालयी पहल है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू किए गए आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत, टॉयकैथॉन-2021 की परिकल्पना भारतीय सभ्यता, इतिहास, संस्कृति, पौराणिक कथाओं और लोकाचार पर आधारित उपन्यास टॉय एंड गेम्स की अवधारणा के लिए भारत के नवोन्मेषी दिमागों को चुनौती देने के लिए की गई है।

विवि के वाइस चांसलर डॉ. विकास सिंह और इंजीनियरिंग हेड डॉ. एस पी मखीजा के मार्गदर्शन में  आईटीएम  विश्वद्यालय रायपुर  नोडल सेंटर में 22  से 24 जून तक इस स्पर्धा का आयोजन हुआ  जिसमे विभिन्न प्रांतो से चयनित  सात  टीमों ने भाग लिया. अंतिम दिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने  प्रतिभागियों से बात की थी और आज शनिवार को स्पर्धा के नतीज़े घोषित हुए. आईटीएम विवि के प्रो. मोहित साहू ने बताया  रायपुर नोडल से  तीन टीमें, ड्डटीम गेमर्ज, टीम संस्कृति और टीम जे एन वी हरिद्वार पावर जजिंग के लिए सलेक्ट हुए थे और यही तीन टीमें  टॉयकैथॉन 2021  ग्रैंड फिनाले के विजेता रहे। पूरे भारत देश में कुल 14132 टीमों ने इस आयोजन में 17770 आइडिया प्रस्तुत किए थे। 

इस प्रतियोगिता में तीन ट्रैक रखे गए थे, ट्रैक 1 में स्कूल के छात्र, ट्रक 2 में कॉलेज के छात्र और ट्रैक 3  में प्रोफेशनल्स को रखा गया था। इस प्रतियोगिता में 50 लाख का इनाम रखा गया है।  मैकेनिकल इंजीनियरिंग के प्रोफ़ेसर मोहित साहू, मैनेजमेंट  के प्रोफेसर अभिषेक विश्वकर्मा , लाइफ साइंस के प्रोफेसर डॉ. जय गोड़ेजा एवं इंजीनियरिंग के प्रोफेसर डॉ. नितिन जायसवाल  ने इस तीनदिवसीय कार्यक्रम को संपन्न करने सक्रिय भूमिका निभाई।

केपीएस रायपुर  की टीम गेमर्ज ने मेरी रामायण नाम की कार्ड गेम बनाया जो की  एक कहानी कहने वाला खेल है जो खिलाडिय़ों को हमारी संस्कृति से जुड़े रहते हुए अपने कौशल को विकसित करने का अवसर प्रदान करता है। संकेतों और सुरागों की मदद से प्रत्येक खेल रामायण की एक अलग कहानी सामने लाएगा क्योकि रामायण के विभिन्न संस्करण है। धनबाद, अहमदाबाद और नोएडा के प्रोफेशनल परिवार के  टीम संस्कृति ने  कल्चरल मैप ऑफ़ इंडिया पजल सेट बनाया , जो की एक अभिनव संवेदी पहेली खेल है जो छात्रों को भारत की जातीय विविधता का पता लगाने में मदद करता है। हरिद्वार की टीम जे एन वी हरिद्वार ने गुड एन्ड बैड नाम का खेल विकसित किया जो  12 वर्ष तक बच्चो को अच्छे शिष्टाचार और सामाजिक मानवीय मूल्यों को  सिखाता है।  यह एक पारंपरिक सांप और सीढ़ी खेल है  जो यथार्थवादी मानव जैसी आवाज से हिंदी और इंग्लिश दोनों भाषाओँ में मैसेज देता है।

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