मैं हूँ 'मजदूर नंबर 1' : मोदी

खुद को 'मजदूर नंबर 1' बताते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने असंगठित क्षेत्र के कामगारों के लिए एक पेंशन योजना प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन(पीएम-एसवाईएम) का यहां मंगलवार को शुभारंभ किया;

Update: 2019-03-05 22:12 GMT

अहमदाबाद। खुद को 'मजदूर नंबर 1' बताते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने असंगठित क्षेत्र के कामगारों के लिए एक पेंशन योजना प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन(पीएम-एसवाईएम) का यहां मंगलवार को शुभारंभ किया। सरकार ने दावा किया है कि देश के करीब 42 करोड़ मजदूरों को इससे फायदा होगा, जिसके अंतर्गत 60 वर्ष की उम्र के बाद 3,000 रुपये मासिक पेंशन मिलेगा। 

यहां वस्त्रल में एक जनसभा में योजना के शुभारंभ की घोषणा करते हुए मोदी ने कहा, "अबतक करीब 14.5 लाख मजदूरों ने इस योजना के साथ पंजीकरण कराया है। असंगठित क्षेत्र के करीब 42 करोड़ कामगारों को इससे फायदा होगा।"

प्रधानमंत्री ने कहा, "स्वतंत्रता के बाद, ऐसा पहली बार है कि इस तरह की योजना लाई गई है। इससे पहले सिवाय गरीबी हटाओ नारे के किसी ने भी असंगठित क्षेत्र के बारे में नहीं सोचा, लेकिन आपके 'मजदूर नंबर 1' ने इस योजना को लाकर दिखाया।"

लाभुकों को अपने क्षेत्रों में सेवा केंद्रों में खुद को पंजीकृत कराना होगा।

कोई भी जो 18 से 40 वर्ष के बीच का है और असंगठित क्षेत्र में 15,000 रुपये से कम मासिक आमदनी है, वह पंजीकरण करा सकता है। पंजीकरण के बाद, लाभुकों को 55 रुपये से लेकर 200 रुपये तक के बीच की राशि को चुनना होगा, जिसे प्रत्येक महीने जमा कराना होगा। इतनी ही राशि केंद्र सरकार जमा कराएगी।

60 वर्ष होने के बाद, लाभुकों को 3,000 रुपये प्रति माह मिलना शुरू हो जाएगा।

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