उद्यान विभाग के नौ ठेकेदारों पर पांच लाख रुपए का जुर्माना
शहर की हरियाली पर पिछले महीनों से लग रहे ग्रहण को दूर करने के लिए प्राधिकरण ने पार्क व पौधों का रख-रखाव ठीक न करने पर ठेकेदारों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है;
ग्रेटर नोएडा। शहर की हरियाली पर पिछले महीनों से लग रहे ग्रहण को दूर करने के लिए प्राधिकरण ने पार्क व पौधों का रख-रखाव ठीक न करने पर ठेकेदारों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। प्राधिकरण की तरफ से नौ ठेकेदारों पर पांच लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है।
31 दिसम्बर तक पार्कों व पौधों के रख-रखाव पर ध्यान नहीं दिया गया कि उद्यान विभाग के प्रबंधक व कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने शहर को हरा-भरा रखने के लिए पौधों व पार्कों के रखरखाव का ठेका दे रखा है। पिछले कई माह से पार्कों में रखरखाव ठीक नहीं किया जा रहा है। पार्कों से हरियाली गायब है।
पौधों की सिंचाई के लिए थमला आदि भी नहीं बनाया जा रहा था। सेक्टर के लोग लगातार उद्यान विभाग की शिकायत कर रहे थे। सेंट्रल वर्ज में भी हरियाली पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। पहले सेंट्रल वर्ज मे डिवाइर के बराबर फूल खिले रहते थे। अब वह फूल भी गायब है। उद्यान विभाग में उप महाप्रबंधक एके अरोड़ा ने सेक्टरों, 130 मीटर, 105 मीटर चौड़ी सड़क आदि का दौरान किया। इस दौरान उन्होंने ज्यादातर पार्क में घास सूखी मिली।
यहां तक पौधों का रखरखाव भी ठीक तरीके नहीं किया जा रहा था। रख-रखाव के अभाव में ज्यादातर पौधे सूखे पड़े थे। इस पर उपमहाप्रबंधक ने नौ ठेकेदार एमएस डिजाइन, माधव एसोसिएट, तीजन कंस्ट्रक्षन, यस बिल्डर, निरंजन एसोसिएट, भारतीय एसोसिएट, अरूण वाटर सप्लाइर्स एवं फार्मस, वाशिंका लैंड स्कैप आदि पर पांच लाख रुपए का जुर्माना लगाया है।
साथ ही ठेकेदारों को चेतावनी दी है कि अगर दौरे के दौरान पार्क व पौधों का रखरखाव ठीक नहीं मिला तो ठेकेदार का भुगतान रोक दिया जाएगा। उपमहाप्रबंधक ने इसकी ओएसडी उद्यान को सौंपी है। उद्यान विभाग के संबंधित प्रबंधक को भी चेतावनी दी कि अगर 31 दिसम्बर तक पौधों व पार्कों के रखरखाव पर ध्यान नहीं दिया तो उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।