केंद्र रोहिंग्या शरणार्थियों की स्थिति पर विस्तृत रिपोर्ट पेश करे: सुप्रीम कोर्ट
उच्चतम न्यायालय ने केंद्र सरकार को विभिन्न राज्यों में रह रहे रोहिंग्या शरणार्थियों की स्थिति पर विस्तृत स्थिति रिपोर्ट पेश करने का आज निर्देश दिया।;
नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने केंद्र सरकार को विभिन्न राज्यों में रह रहे रोहिंग्या शरणार्थियों की स्थिति पर विस्तृत स्थिति रिपोर्ट पेश करने का आज निर्देश दिया।
याचिकाकर्ता जफर उल्लाह की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कोलिन गोंजाल्विस ने शीर्ष अदालत के समक्ष दलील दी कि जम्मू-कश्मीर, दिल्ली और हरियाणा में रोहिंग्या मुसलमान बदहाली का जीवन जी रहे हैं।
श्री गोंजाल्विस ने मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर और न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ की पीठ के समक्ष दलील दी कि तीनों राज्यों में रोहिंग्या शरणार्थी नारकीय जीवन जी रहे हैं, ऐसी स्थिति में इन राज्य सरकारों को इनके शरणार्थी शिविरों में बेहतर सुविधायें उपलब्ध कराने का निर्देश दिया जाना चाहिए।
वरिष्ठ अधिवक्ता ने इन तीन राज्यों में रह रहे रोहिंग्या शरणार्थियों की दयनीय और दीनहीन स्थिति पर अपनी रिपोर्ट न्यायालय के समक्ष पेश किया।
उन्होंने कहा कि रोहिंग्या शरणार्थियों के शिविरों में न शौचालय उपलब्ध है, न बिजली और न पीने का पानी। ये शरणार्थी खुले में शौच करने को मजबूर हैं।
उनकी इन दलीलों से संतुष्ट शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकार एवं तीनों राज्यों को रोहिंग्या शरणार्थियों की स्थिति के संबंध में विस्तृत रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया।
गौरतलब है कि दिल्ली में रोहिंग्या शरणार्थियों के दो, जम्मू में 10 और हरियाणा के मेवात में एक से अधिक शिविर हैं।