डिजाइन तैयार करने को लेकर सलाहकार की होगी नियुक्ति
ग्रेटर नोएडा में जिस तरह आबादी बढ़ रही है और गोल चक्कर पर हमेशा जाम व हादसे होते है, इन समस्याओं को देखते हुए ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण के शहर में सर्वे कराकर रीडिजाइन तैयार कराने जा रहा है;
ग्रेटर नोएडा। ग्रेटर नोएडा में जिस तरह आबादी बढ़ रही है और गोल चक्कर पर हमेशा जाम व हादसे होते है, इन समस्याओं को देखते हुए ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण के शहर में प्रमुख गोल चक्कर सर्वे कराकर रीडिजाइन तैयार कराने जा रहा है। डिजाइन तैयार करने के लिए कंसल्टेंट नियुक्ति किया जाएगा। आने वाले 21 साल को देखते हुए गोल चक्करों का डिजाइन तैयार किया जाएगा। जिससे आगे कोई समस्या न खड़ी हो सके।
ग्रेटर नोएडा में ज्यादातर चौराहे के बजाय गोल चक्कर बनाए हुए है। इन गोल चक्कर पर बत्ती का कोई प्रावधान नहीं है। शषहर का सबसे महत्वपूर्ण गोलचक्कर परी चौक है। जहां पर आए दिन जाम लगा रहता है। करीब डेढ़ साल पहले प्राधिकरण ने गोल चक्कर पर जाम की समस्या को देखते हुए ट्रेफिक लाइट की व्यवस्था की, जिस पर लाखों रुपये खर्च किया। इसके बाद भी ट्रैफिक लाइट कारगर साबित नहीं हुआ है। लाल बत्ती के कारण और जाम लगने लगा। परी चौक को देखते हुए प्राधिकरण इसी तरह शहर के सभी महत्वपूर्ण गोल चक्कर का नए तरीके से डिजाइन तैयार कराने की योजना तैयार कर रहा है।
प्राधिकरण के सीईओ देवाषीश पांडा ने बताया कि गोल चक्करों का नया डिजाइन तैयार करने के लिए कंसल्टेंट नियुक्ति किया जाएगा। आने वाले 21 साल तक कोई समस्या न खड़ी हो उस हिसाब से गोल चक्कर का डिजाइन तैयार किया जाएगा। सीईओ ने बताया कि अब कंसल्टेंट की रिपोर्ट के आधार पर फैसला लिया जाएगा कि गोल चक्कर पर ट्रैफिक लाइट की व्यवस्था रहेगी या नहीं, या फिर गोल चक्कर को तरीके से व्यवस्थिति किया जाए जिससे जाम व हादसे न हो। ट्रैफिक का दबाव बढ़ाने पर गोल चक्कर पर किसी प्रकार की दिक्कत आगे न आए।