आंदोलन के बाद कर्मचारियों को मिलेगा सातवें वेतन का लाभ

 नगर पालिका कर्मचारी संघ हरियाणा के लम्बे आंदोलन के बाद हरियाणा सरकार ने राज्य की नगर निगम, नगर परिषद और नगर पालिकाओं कर्मचारियों को वेतनमान अनुसार पेंशन देने का आदेश जारी किया है;

Update: 2017-09-20 13:56 GMT

फरीदाबाद।  नगर पालिका कर्मचारी संघ हरियाणा के लम्बे आंदोलन के बाद हरियाणा सरकार ने राज्य की नगर निगम, नगर परिषद और नगर पालिकाओं तथा नगर सुधार मंडल से सेवानिवृत्त अधिकारियों कर्मचारियों को 1 जनवरी 2016 से सातवें केंद्रीय वेतन आयोग की सिफारिश के अनुरूप वेतनमान अनुसार पेंशन देने का आदेश जारी किया है। नगर पालिका कर्मचारी संघ हरियाणा के राज्य प्रधान नरेश कुमार ने इसको कर्मचारियों के आंदोलन की जीत बताया है। 

नरेश ने बताया कि हरियाणा सरकार व नगर पालिका कर्मचारी संघ हरियाणा के बीच 11 जुलाई को हुई बैठक में 18 मांगों पर सहमति बनी थी लेकिन सरकार ने अभी तक अन्य मांगों के संबंध में पत्र जारी नहीं किए हैं। जिससे सरकार के प्रति प्रदेश की पालिका परिषद और निगमों के कर्मचारियों में भारी आक्रोश है।

उन्होंने कहा कि सरकार व संघ के बीच पालिका, परिषद और निगमों में रिक्त पड़े पदों को नियमित भर्ती से भरने ठेका प्रथा आउटसोर्सिंग में लगे कर्मचारियों का वेतन सरकार के वायदे अनुसार 15000 रुपए करने, तृतीय व चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों को आवासीय कॉलोनियों का निर्माण करवाने व गंदा भत्ता वर्दी धुलाई इसलिए पालिका परिषद और निगमों के कर्मचारियों को मजबूर होकर जिला उपायुक्त कार्यालय के समक्ष तिथि वार धरने देकर उपायुक्तों के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन प्रेषित किया जा रहे हैं यदि सरकार ने 11 जुलाई के समझौते को लागू नहीं किया तो हरियाणा सरकार को एक बार फिर पालिका परिषदों निगमों के कर्मचारियों के आंदोलन का सामना करना पड़ेगा भत्ता वर्दी भत्ता आदि बढ़ाने का भी फैसला हुआ था लेकिन सरकार मानी गई मांगों को लागू नहीं कर रही है।

सरकार विधानसभा चुनाव के दौरान किए हुए वायदे ठेका प्रथा समाप्त करने कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने के वायदे को पूरा नहीं कर रही है। उल्टा पालिका परिषद और निगमों में निजीकरण और ठेकेदारी के चतुर को तेजी से चला रही है। जिस कारण प्रदेश की विभिन्न पालिकाओं परिषद और निगमों में कर्मचारियों की छंटनी की जा रही है। शास्त्री ने कहा कि सरकार की इस कर्मचारी विरोधी नीति को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा यदि सरकार ने तुरंत प्रभाव से आउटसोर्सिंग ठेके पर लगे कर्मचारियों को समान काम समान वेतन का लाभ नहीं दिया और आउटसोर्सिंग पॉलिसी टू और वन में लगे कर्मचारियों के नियमितीकरण के लिए नीति नहीं बनाई तो प्रदेश का पालिका परिषद और निगमों का कर्मचारी सरकार के खिलाफ आंदोलन करेगा।

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