Top
Begin typing your search above and press return to search.

योगी आदित्यनाथ ने  ‘रामलला ’ के दर्शन किये

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ‘रामलला ’ के दर्शन किये। मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अयोध्या आये योगी आदित्यनाथ हनुमानगढी में हनुमान जी के दर्शन किये

योगी आदित्यनाथ ने  ‘रामलला ’ के दर्शन किये
X

अयोध्या। अयोध्या जय श्रीराम के गगनभेदी नारों और कडी सुरक्षा व्यवस्था के बीच उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विवादित धर्मस्थल में प्रतिष्ठापित ‘ रामलला ’ के आज दर्शन किये ।

मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अयोध्या आये योगी ने रामलला के दर्शन के पहले प्रसिद्ध हनुमानगढी मंदिर में हनुमान जी के सामने मत्था टेका । योगी के दर्शन के समय दोनों स्थलों पर सुरक्षा कारणों से आम दर्शनार्थियों के मंदिर में जाने पर रोक लगा दी गयी थी।

मुख्यमंत्री के हनुमानगढी में मौजूदगी के दौरान नीचे उनके कई समर्थक इन्तजार कर रहे थे। हनुमानगढी में हनुमानजी के दर्शन के लिए करीब डेढ सौ सीढियों पर चढकर जाना होता है। मूर्ति काफी ऊंचाई पर है।

राजस्थान से आये उनके एक समर्थक ने कहा, “ मुझे अखबारों से पता चला है कि योगी जी रामलला के दर्शन करने आ रहे हैं ।इसीलिए मैं भी यहां आ गया हूं ।मैं उनसे मिलना चाहता हूं, मिलकर कहूंगा कि जल्द से जल्द नरेन्द्र मोदी के साथ मिलकर मंदिर निर्माण करायें।”

योगी ने हनुमानगढी में करीब बीस मिनट बिताये। दर्शन के बाद उन्होंने मंदिर के पुजारियों से बातें की। उनके साथ फोटो खिंचवाये। युवा साधुओं ने सेल्फी ली । इसके बाद वह हनुमानगढी से करीब सात -आठ सौ मीटर की दूर पर स्थित विवादित रामजन्मभूमि पहुंचे ।

उन्होंने सुरक्षा मानकों का पूरा पालन करते हुए रामलला के दर्शन किये। मूर्ति से करीब 30 मीटर दूर बने एक प्लेटफार्म पर खडे होकर श्रद्धालु रामलला का दर्शन करते हैं। मूर्ति साफ दिखायी पडे इसके लिए बिजली की मुकम्मल व्यवस्था रहती है । विवादित रामजन्मभूमि पर उन्होंने करीब 30 मिनट बिताये।

रामलला के दर्शन के समय बाहर उनके कई समर्थक साधु संत लगातार जय श्रीराम के नारे लगा रहे थे। साधु रामेश्वर दास ने कहा , “ आज अयोध्या के लोग काफी उत्साहित हैं । यहां के लोग चाहते है कि राम मंदिर का निर्माण जल्द से जल्द हो। ”

इसी बीच कुछ लोग शंख बजाते भी दिखे ।कई के हाथों में तो घंटा भी था जिसे वे लगातार बजा रहे थे। विवादित रामजन्मभूमि पर प्रतिष्ठापित रामलला का दर्शन करने के बाद वह सरयू तट के लिए रवाना हो गये। उन्होंने सरयू नदी का वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ पूजन अर्चन किया। सरयू जी की आरती उतारी।

योगी की अयोध्या यात्रा के दौरान 25वर्ष पहले लगने वाला नारा “ रामलला हम आयेंगे ,मंदिर वहीं बनायेंगे ” भी सुनाई दिया। छह दिसम्बर 1992 को विवादित ढांचा ध्वस्त होने के बाद रामलला का दर्शन करने वाले याेगी दूसरे मुख्यमंत्री है। इससे पहले 2002 में राजनाथ सिंह ने बतौर मुख्यमंत्री रामलला का दर्शन किया था ।

सन् 1991 में मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के बाद कल्याण सिंह ने अपने मंत्रिमंडलीय सहयोगियों के साथ अयोध्या का दौरा किया था । उन्होंने रामलला और हनुमान जी के दर्शन किये थे । दिगम्बर अखाडे में परमहंस रामचन्द्र दास के आमंत्रण पर दोपहर का भोजन किया था ।

मुख्यमंत्री बनने के पहले श्री योगी कई बार अयोध्या आ चुके हैं। उनके गोरखपुर स्थित गोरक्षपीठ से रामजन्मभूमि आंदोलन का पुराना रिश्ता है। योगी के गुरु महंत अवैद्यनाथ की अगुआई में ही रामजन्मभूमि आंदोलन शुरु हुआ था। उनकी अध्यक्षता में बने श्रीरामजन्मभूमि मुक्ति यज्ञ समिति ने आंदोलन की कमान संभाली थी। समिति की देखरेख में सीतामढी से दिल्ली तक ऐतिहासिक रथयात्रा निकाली गयी थी, लेकिन 31 अक्टूबर 1984 को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या की वजह से यात्रा को बीच में ही रोक देना पडा था ।

रामजन्मभूमि यज्ञ समिति की अगुआई में निकली यात्रा से जनता सीधे जुड गयी थी। यात्रा में शामिल हजारो लोगों के लिए फल और खाना इतना आ जाता था कि जानवरों को खिलाना पड जाता था। कभी कभी तो फेंकना पडता था। यात्रा के अयोध्या पहुंचने पर एक विशाल सभा सरयू तट पर हुई थी। लाखों लोगों ने साधु संतों को सुना था।

सभा की अध्यक्षता महंत अवैद्यनाथ ने की थी ,जबकि मुख्य वक्ता के रुप में विश्व हिन्दू परिषद के तत्कालीन महासचिव अशोक सिंघल थे। उस सभा में मंदिर निर्माण के लिए संतों की हुंकार से ही साफ हो गया था कि यह आंदोलन देश की राजनीतिक दशा और दिशा दोनों बदलेगा।

योगी की यात्रा ने अयोध्या के कई घटनाक्रमों की याद ताजा कर दी। इससे पहले श्री याेगी सुबह करीब आठ बजकर पचास मिनट पर फैजाबाद की हवाई पट्टी पर पहुंचे । वहां से वह सीधे हनुमानगढी गये । अयोध्या को नगर निगम घोषित करने के बाद उनकी इस पहली यात्रा को स्थानीय लोग यादगार बनाना चाहते हैं।

उन्होंने अवध विश्वविद्यालय के सभागार में पार्टी कार्यकर्ताओं से मुलाकात की । विकास कार्यो की समीक्षा की । कानून व्यवस्था के हालात जाने और उसके बाद दिवंगत परमहंस जी के दिगम्बर अखाडा रवाना हो गये। वहां उनका भोजन करने का कार्यक्रम हैं। वह अखाडे में करीब एक घंटा रुकेंगे। वह श्रीरामजन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष नृत्य गोपाल दास के जन्मोत्सव में शामिल होंगे। पासपोर्ट विभाग के स्थानीय कार्यालय का उद्घाटन भी करेंगे।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it