रोज केजरीवाल पर आरोप न लगाएं, जनता की स्वच्छ राजनीति से आस्था खत्म हो जाएगी : योगेंद्र यादव
योगेंद्र यादव ने कपिल की माफी पर दिया जवाब... रोज केजरीवाल पर आरोप न लगाएं, जनता की स्वच्छ राजनीति से आस्था खत्म हो जाएगी
नई दिल्ली, 22 मई (देशबन्धु)। आप विधायक कपिल मिश्रा द्वारा स्वराज अभियान के नेता योगेंद्र यादव से माफी मांगने पर उन्होने एक खुला पत्र कपिल मिश्रा के नाम लिखते हुए कहा कि प्रशांत और मुझसे माफी मांगने की बजाय उन हजारों वॉलंटियर्स, लाखों समर्थकों और करोड़ों देशवासियों से माफी मांगनी चाहिए जिनके साथ धोखा हुआ। अच्छा लगा कि आपने मेरी इस बात का समर्थन किया। गलती कौन नहीं करता, लेकिन माफी मांगने की हिम्मत हर कोई नहीं करता। आपकी क्षमायाचना से कई दोस्तों के पुराने घाव भरने में मदद मिलेगी, जब हमें झूठे लांछन लगाकर पार्टी से निकाला गया उस वक्त, खासतौर पर केलिस्टा रिसोर्ट कांड में आपकी और अपने कई साथियों की भूमिका देखकर मेरा इंसानियत से भरोसा हिल गया था।
श्री यादव ने पत्र में लिखा,
“आपके विशेष अनुरोध पर मैं आपके चुनावक्षेत्र में कई बार प्रचार करने गया था। सोचिये मुझे कैसा लगा होगा जब आपके ही मुंह से गद्दारी का आरोप सुना? और आपका आदरणीय शांति भूषण पर हमला...अब भी याद कर सिहर उठता हूं। आज आपने उस घटना के सच का इशारा तो किया, लेकिन कभी ठीक समझें तो उस काण्ड का पूरा सच देश के सामने रख दीजियेगा। आज आपकी क्षमायाचना में मुझे उन कई पुराने साथियों की भी आवाज भी सुनी जो अपने किये पर शर्मिंदा महसूस करते हैं, चोरी-छुपे माफी के सन्देश भेजते रहे हैं, लेकिन खुलकर बोल नहीं पाते। उसे सुनकर मेरे भीतर अगर कोई कड़वाहट बची थी तो वो धुल गयी। वैसे आप राजनीति में मुझसे बहुत होशियार हैं, लेकिन अगर अन्यथा न लें तो एक सुझाव दूं?”
उन्होने कहा कि ये रोज-रोज अरविन्द केजरीवाल के खिलाफ प्रेस कांफ्रेंस करनी बंद कर दीजिये। मैं नहीं कहता कि आपके सारे आरोप गलत हैं। कुछ आरोप वजनदार हैं, हालांकि बाकी का अभी कोई प्रमाण नहीं है। लेकिन दिन-रात आरोपों की झड़ी सुनने से आम आदमी पार्टी तो साफ नहीं होगी, ईमानदार राजनीति में जनता की जितनी भी आस्था बची है वो जरूर साफ हो जाएगी। यूं भी अगर ये सब आपको पता था तो आप पिछले दो साल से वहां क्या कर रहे थे? आज आपको प्रायश्चित शोभा देता है, प्रतिशोध नहीं। कपिल भाई, नकारात्मकता की राजनीति न देश के हित में है, न ही आपके हित में। पिछले दो साल से मैंने अपना अधिकांश समय गांव-खेती-किसान के सवाल पर लगाया है। मेरा यकीन मानिये, आम आदमी पार्टी के नेताओं के कुकर्म इस देश की सबसे बड़ी समस्या नहीं है। जैसा फैज़ ने कहा था और भी दु:ख हैं ज़माने में ... ।
My open letter to Kapil Mishra
— Yogendra Yadav (@_YogendraYadav) May 22, 2017
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