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गेंद को ज्यादा स्पिन कराना चाहता था : अश्विन

 पहले टेस्ट मैच में मिली करारी हार के बाद भारत ने दूसरे टेस्ट मैच में आस्ट्रेलिया को 75 रनों से हराकर चार टेस्ट मैचों की श्रृंखला 1-1 से बराबर कर ली है।

गेंद को ज्यादा स्पिन कराना चाहता था : अश्विन
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बेंगलुरु। पहले टेस्ट मैच में मिली करारी हार के बाद भारत ने दूसरे टेस्ट मैच में आस्ट्रेलिया को 75 रनों से हराकर चार टेस्ट मैचों की श्रृंखला 1-1 से बराबर कर ली है। भारत की इस जीत में ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन ने छह विकेट लेकर अहम भूमिका निभाई। उन्हीं के प्रदर्शन के दम पर भारत ने आस्ट्रेलिया को चौथी पारी में 188 रनों के लक्ष्य को हासिल नहीं करने दिया और उसे 112 रनों पर ढेर कर जीत हासिल की।

मैच के बाद अश्विन ने कहा, "मैं गेंद को ज्यादा स्पिन कराने की कोशिश कर रहा था। मैंने एक अच्छी चीज जो कि वह यह रही कि जब मुझे विकेट नहीं मिल रहे थे तो मैं रन रोकने की कोशिश कर रहा था। ड्रेसिंग रूम में हमने तय किया था कि हम छोटे स्पैल डालेंगे और गेंदबाजी में लगातार पर्वितन करते रहेंगे। इसलिए हम बदलाव कर रहे थे।"

अश्विन ने इस मैच के बाद भारतीय टीम के पूर्व कप्तान बिशन सिंह बेदी को पछाड़ दिया है। वह भारत की तरफ से सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाजों की सूची में पांचवें स्थान पर आ गए हैं। अश्विन के इस मैच के बाद 269 विकेट हो गए हैं जबकि बेदी के 266 विकेट थे। इस सूची में भारत के मौजूदा मुख्य कोच अनिल कुंबले 619 विकटों के साथ पहले स्थान पर हैं।

भारतीय टीम पहली पारी में महज 189 रनों पर ढेर हो गई थी। इस पारी में भारत के लिए सर्वाधिक 90 रन सलामी बल्लेबाज और स्थानीय खिलाड़ी लोकेश राहुल ने बनाए थे। राहुल ने दूसरी पारी में भी 51 रनों की पारी खेली थी। उन्हें मैन ऑफ द मैच चुना गया।

राहुल ने कहा, "पहला मैच हारने के बाद हमने जो यहां किया, वो खास है। हमने काफी कुछ हासिल किया है लेकिन एक युवा टीम के लिए यह जीत बेहद विशेष है।"राहुल ने कहा, "मैंने अपने करियर की ज्यादातर क्रिकेट इस मैदान पर खेली है। मैंने उनसे कहा था कि अगर हमने 150 रनों की भी बढ़त ले ली तो हम 30 रन से मैच जीतेंगे।"

राहुल ने अपने प्रदर्शन पर कहा, "मैं अपने प्रदर्शन से निराश था क्योंकि सलामी बल्लेबाजों को बड़ा स्कोर करना होता है। लेकिन, अब हम जीत गए हैं तो यह निराशा खत्म हो चुकी है। मेरे कंधों में दर्द है। मैं फील्डिंग के दौरान डाइव भी नहीं लगा पा रहा था। हालांकि मैं इस समस्या के साथ बल्लेबाजी करने में सहज हूं।"

आस्ट्रेलिया ने एक समय अपने तीन विकेट खो दिए थे और मैदान पर शॉन मार्श तथा कप्तान स्टीव स्मिथ की जोड़ी थी। यह दोनों जिस अंदाज में बढ़ रहे थे, वह भारत के लिए परेशानी खड़ी कर सकते थे। लेकिन तेज गेंदबाज उमेश यादव ने शॉन और स्मिथ को पगबाधा आउट कर भारत को बड़ी राहत दी।

उमेश ने कहा, "हम जानते थे कि गेंद कहां से नीची रह रही है और कहां से उठ रही है। हम हर बार गेंद को विकटों पर रखने की कोशिश कर रहे थे। ईशांत के साथ गेंदबाजी करना हमेशा अच्छा होता है। वह मुझे बताते हैं कि कैसे गेंदबाजी करनी है।"

पहली पारी में ढेर होने के बाद भारतीय टीम दूसरी पारी में भी लड़खड़ा रही थी। लेकिन, टीम के दो भरोसेमंद बल्लेबाजों अजिंक्य रहाणे (52) और चेतेश्वर पुजारा (92) के बीच पांचवे विकेट के लिए हुई 118 रनों की साझेदारी की बदौलत भारत मैच में वापसी करने में सफल रहा।

रहाणे ने कहा, "हम जानते थे कि 200 का स्कोर इस विकेट पर मुश्किल होगा। हम स्पिनरों पर हावी होना चाहते थे, लेकिन बाउंड्री से नहीं बल्कि सिंगल्स से।"पुजारा ने कहा , "हम सिर्फ साझेदारी करना चाहते थे।

गेंद नीचे रह रही थी। नाथन लॉयन ने जिस तरह से पहली पारी में गेंदबाजी की थी, उसको देखते हुए हमें दूसरी रणनीति की जरूरत थी जो हमारे पास थी। यहां 200 से ऊपर का लक्ष्य नामुमकिन सा था। एक बार जब हमने 150 का आंकड़ा पार कर लिया हम संतुष्ट हो गए थे।"श्रृंखला का तीसरा टेस्ट मैच 16 मार्च से रांची में शुरू होगा।


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