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विंध्य की बेटी ' मुहावरों से झलकती ममता' का विमोचन 12 को

पूर्व सीएम अर्जुन सिंह की धर्मपत्नी सरोज कुमारी के द्वारा कहे गए मुहावरों का है संग्रह

विंध्य की बेटी  मुहावरों से झलकती ममता का विमोचन 12 को
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मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह की धर्मपत्नी सरोज कुमारी के द्वारा कहे गए मुहावरों का एक अनूठा और अनोखा कहावतों का संग्रह' विंध्य की बेटी ' मुहावरों से झलकती ममता' एक पुस्तक के रूप मे तैयार किया गया है। इसका विमोचन 12 अगस्त को पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ द्वारा किया जाएगा। पुस्तक में बघेलखंड की संस्कृति और परंपरा का एक रुचिकर और लोक स्वीकृत दस्तावेज तैयार किया गया है। इस दस्तावेज को अर्जुन सिंह संभावना फाउंडेशन एक पुस्तक के स्वरूप में समाज के सामने प्रस्तुत करने जा रहा है।

अर्जुन सिंह की सुपुत्री वीणा सिंह ने गुरुवार को एक पत्रकार वार्ता में बताया कि उनकी माता सरोज कुमारी ने लंबे सफर एवं श्रम के बाद यह पुस्तक तैयार की है। सबकी इच्छा थी कि माताजी के जीवन काल में ही यह पुस्तक प्रकाशित हो जाए ,लेकिन कुछ कारणवश इसके प्रकाशन में समय लग गया। वीणा ने कहा कि पुस्तक में बघेली भाषा की 151 कहावतों को शामिल किया गया है। इन मुहावरों और कहावतों का स्वरूप इस प्रकार का है कि उन्हें हिंदी साहित्य में उचित स्थान दिया जा सकता है। यह पुस्तक हिंदी भाषा को समृद्ध करने और बघेली भाषा के सौंदर्य को जन-जन तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण साबित होगी।

मुहावरों में ही बात करती थी मां

वीणा सिंह ने बताया कि उनकी मां मुहावरों के माध्यम से हमेशा बात करती थी, जिसे सुनकर मैंने उन्हें सुझाव दिया कि आप रोज लिखा कीजिए। उन्होंने डायरी के साथ कई मुहावरों को लिखने का अभ्यास शुरू कर दिया। उनके जीवनकाल में उनके पुस्तक प्रकाशित नहीं हो पाई, इसका मुझे अफसोस है।

बिट्टन मार्केट बनने की कहानी का किया उल्लेख

पत्रकार वार्ता में वीणा सिंह ने भोपाल के प्रसिद्ध बिट्टन मार्केट के नामकरण की कहानी का उल्लेख किया। उन्होंने बताया कि भोपाल के पूर्व प्रशासक आई एम् बूच और उनके घर करीब थे। इसलिए दोनों परिवारों का एक दूसरे के घर आना जाना था। एक दिन उन्होंने मेरे नानाजी के मुख से मेरी बिट्टन नाम सुना ,तो उन्होंने पूछा कि यह किसका नाम है। इस पर मेरी मां ने उन्हें बताया कि उनके पिता उन्हें इस नाम पुकारते है। तब बूच साहब कि यह नाम उन्हें बहुत पसंद आया। जब मैं भोपाल में नया बाजार बनाऊंगा तो उसका नाम बिट्टन मार्केट रखूंगा। मेरी मां को लगा कि यह मजाक कर रहे हैं। लेकिन बाद सच साबित हुआ। वीणा सिंह ने कहा कि जब मैं भोपाल आती हूं तो लोग मुझसे कहते हैं कि विट्ठल मार्केट चलना है तो मैं उनसे कहती हूं कि वह बिट्टन मार्केट है मेरी गुजारिश है कि बिट्टन मार्केट के नाम को बिगड़ने न दे।


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