Top
Begin typing your search above and press return to search.

मप्र में वी.डी. शर्मा की ताजपोशी से युवा उत्साहित, वरिष्ठ मायूस

भारतीय जनता पार्टी की मध्यप्रदेश इकाई के नवनियुक्त अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ने सोमवार को पदभार संभाल लिया

मप्र में वी.डी. शर्मा की ताजपोशी से युवा उत्साहित, वरिष्ठ मायूस
X

भोपाल। भारतीय जनता पार्टी की मध्यप्रदेश इकाई के नवनियुक्त अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ने सोमवार को पदभार संभाल लिया। उनकी ताजपोशी के समय पार्टी के तमाम नेता मौजूद रहे। इस दौरान युवा खासा उत्साहित नजर आया तो दूसरी ओर वरिष्ठों के चेहरे पर मायूसी छाई रही।

भाजपा में राज्य इकाई के अध्यक्ष के लिए काफी अरसे से खींचतान चल रही थी, ऐसा इसलिए, क्योंकि पार्टी के नए अध्यक्ष के तौर पर तमाम बड़े नेता, जिनमें पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान, सांसद और निवर्तमान अध्यक्ष राकेश सिंह, पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा, भूपेंद्र सिंह, केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, प्रहलाद पटेल आदि शामिल है जो खुद अथवा अपनी पसंद के व्यक्ति को प्रदेशाध्यक्ष बनवाने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगाए हुए थे।

पार्टी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा ने शनिवार को शर्मा की नियुक्ति की और उन्होंने सेामवार को भोपाल में पार्टी दफ्तर पहुंचकर पदभार संभाला। शर्मा की नियुक्ति से भाजपा की युवा पीढ़ी खासी उत्साहित है, क्योंकि शर्मा ने कई सालों तक अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में रहकर काम किया है।

युवाओं का जोश भी स्वागत समारोह और रोडशो में नजर आया। रोड शो के दौरान शर्मा के वाहन पर कोई भी बड़ा नेता नजर नहीं आया। उनके साथ पूरे समय विधायक विश्वास सारंग, रामेश्वर शर्मा, कृष्णा गौर और महापौर आलोक शर्मा रहे। हां, मंच पर जरूर राज्य के तमाम दिग्गज नेता थे।

प्रदेशाध्यक्ष बनने के बाद पहली बार पार्टी दफ्तर के मंच पर जब शर्मा पहुंचे तो वहां मौजूद कम ही नेता थे, जिन्होंने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया, अधिकांश के चेहरे से पढ़ा जा सकता था कि पार्टी के इस फैसले से वे खुश नहीं हैं। इस बात को शर्मा भी जान रहे हैं। यही कारण रहा कि उन्होंने अपने उद्बोधन में बार-बार सभी के सहयोग की अपेक्षा व्यक्त की।

उन्होंने मंच पर मौजूद नेताओं से कहा, "सब मिलकर प्रदेश में पार्टी का नेतृत्व करें और हम सभी कार्यकर्ता जमीन पर उतरकर हमारे विचारों पर प्रहार करने वाली कमल नाथ सरकार का सामना करें।"

स्वागत समारोह में निवर्तमान प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज, केंद्रीय मंत्री नरेंद्रसिंह तोमर, थावरचंद गहलोत, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व सांसद प्रभात झा, फग्गनसिंह कुलस्ते, नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव, सासंद डॉ. सत्यनारायण जटिया, वरिष्ठ नेता कप्तानसिंह सोलंकी, प्रदेश संगठन महामंत्री सुहास भगत, विधानसभा में मुख्य सचेतक डॉ. नरोत्तम मिश्रा उपस्थित थे। मंच का संचालन प्रदेश उपाध्यक्ष रंजना बघेल ने किया।

भाजपा के राज्य के नेताओं पर गौर करें तो एक बात साफ हो जाती है कि वरिष्ठ नेताओं ने कई बार शर्मा की सियासी चाल को रोकने की कोशिश की, मगर उन्हें ज्यादा सफलता नहीं मिली। शर्मा को विधानसभा चुनाव लड़ाने की बात आई तो अंदर खाने विरोध हुआ, वे चुनाव नहीं लड़ पाए। लोकसभा चुनाव में विदिशा, फिर भोपाल, मुरैना, ग्वालियर से उम्मीदवार बनाने की बात चली तो वरिष्ठ नेताओं ने विरोध किया, आखिर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के दखल के बाद खजुराहो से उम्मीदवार बनाया गया।

प्रदेशाध्यक्ष की बात आई तो फिर विरोध हुआ, गोलबंदी हुई मगर सफलता नहीं मिली। आखिरकार शर्मा को अध्यक्ष बना ही दिया गया।

राजधानी की सोमवार की राजनीतिक गतिविधियां यह साफ बता रही है कि आने वाले दिनों में भाजपा के भीतर असंतोष के स्वर मुखरित होना तय है। इसके लिए बैठकों का दौर शुरू हो गया है और सबसे पहले नेता प्रतिपक्ष बदलने की मांग उठेगी। जातीय समीकरण को हवा दी जाएगी, क्योंकि प्रदेशाध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष दोनों ही ब्राह्मण हैं।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it