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अंकिता भंडारी हत्याकांड में नाम उछलने पर भड़के भाजपा नेता दुष्यंत गौतम, गृह सचिव को लिखा पत्र, सियासत फिर गरमाई
भाजपा प्रदेश प्रभारी दुष्यंत गौतम को लेकर बीते कुछ समय से इंटरनेट मीडिया पर कई ऑडियो और वीडियो क्लिप्स वायरल हो रहे हैं। इन क्लिप्स में अंकिता भंडारी हत्याकांड से उन्हें जोड़ते हुए तरह-तरह की टिप्पणियां की जा रही हैं।

देहरादून: उत्तराखंड के बहुचर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर एक बार फिर सियासी और सामाजिक हलकों में हलचल तेज हो गई है। इस बार मामला सीधे भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव और प्रदेश प्रभारी दुष्यंत गौतम से जुड़ गया है। इंटरनेट मीडिया पर उनके नाम को जोड़ते हुए प्रसारित हो रहे ऑडियो और वीडियो क्लिप्स को लेकर उन्होंने कड़ा ऐतराज जताया है और इसे उनकी छवि धूमिल करने की साजिश करार दिया है। दुष्यंत गौतम ने इस संबंध में उत्तराखंड के सचिव गृह शैलेश बगौली को पत्र लिखकर फेसबुक, मेटा, इंस्टाग्राम, एक्स (पूर्व में ट्विटर) और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म पर चल रही कथित आपत्तिजनक और असत्य सामग्री को हटाने और उसके प्रसार पर रोक लगाने का अनुरोध किया है।
सोशल मीडिया पर ऑडियो-वीडियो से उठा विवाद
भाजपा प्रदेश प्रभारी दुष्यंत गौतम को लेकर बीते कुछ समय से इंटरनेट मीडिया पर कई ऑडियो और वीडियो क्लिप्स वायरल हो रहे हैं। इन क्लिप्स में अंकिता भंडारी हत्याकांड से उन्हें जोड़ते हुए तरह-तरह की टिप्पणियां की जा रही हैं। दुष्यंत गौतम का कहना है कि ये सभी सामग्री न केवल असत्य और मनगढ़ंत है, बल्कि एक सुनियोजित आपराधिक षड्यंत्र के तहत तैयार कर प्रसारित की जा रही है।
सचिव गृह को लिखे पत्र में उन्होंने स्पष्ट किया कि वह लंबे समय से सामाजिक और राजनीतिक जीवन में सक्रिय हैं और समाज में उनकी प्रतिष्ठा रही है। ऐसे में इस तरह की झूठी और भ्रामक सामग्री उनके सम्मान और छवि को गंभीर नुकसान पहुंचा रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि कुछ आपराधिक प्रवृत्ति के लोग जानबूझकर फर्जी ऑडियो तैयार कर मीडिया और इंटरनेट मीडिया के जरिए उसे फैलाने में लगे हैं।
28 फेसबुक आईडी से लेकर यूट्यूब चैनलों तक का जिक्र
दुष्यंत गौतम ने अपने पत्र में विस्तार से उन प्लेटफॉर्म्स और अकाउंट्स का जिक्र किया है, जहां से यह सामग्री प्रसारित की जा रही है। उन्होंने बताया कि फेसबुक और मेटा से जुड़ी 28 आईडी, नौ इंस्टाग्राम हैंडल, दो एक्स हैंडल और आठ यूट्यूब चैनलों के माध्यम से यह कथित फर्जी सामग्री फैलायी जा रही है। उन्होंने इन सभी प्लेटफॉर्म्स को निर्देशित करने का अनुरोध किया है कि इस कंटेंट को तत्काल हटाया जाए और भविष्य में इसके प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष प्रसार पर पूरी तरह से रोक लगाई जाए। उन्होंने पत्र के साथ-साथ प्रमाण के तौर पर मीडिया और इंटरनेट मीडिया में चल रही सामग्री की जानकारी और विवरण भी सचिव गृह के साथ साझा किया है, ताकि प्रशासन इस मामले में आवश्यक कानूनी कार्रवाई कर सके।
सुरेश राठौर और उर्मिला सनावर के खिलाफ मुकदमा
इस पूरे विवाद के केंद्र में भाजपा से निष्कासित पूर्व विधायक सुरेश राठौर और उनकी कथित पत्नी उर्मिला सनावर का नाम भी सामने आया है। अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो रहे ऑडियो-वीडियो को लेकर रविदास विश्व महापीठ की ओर से दोनों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया है। उर्मिला सनावर ने दावा किया है कि इस पूरे मामले में भाजपा के कद्दावर नेता, जिन्हें उन्होंने ‘वीआईपी गट्टू’ कहा, शामिल हैं। उनके अनुसार, भाजपा के पूर्व राज्यसभा सांसद दुष्यंत कुमार गौतम और यमकेश्वर ब्लॉक से पूर्व जिला पंचायत सदस्य आरती गौड़ का भी इस मामले में हाथ है। यह दावा उन्होंने एक कथित रिकॉर्डिंग के आधार पर किया है, जो उनके और उनके पति सुरेश राठौर के बीच हुई बातचीत की बताई जा रही है।
आरती गौड़ का इस्तीफा, बदनाम करने का आरोप
मामला तूल पकड़ने के बाद सबसे पहले पूर्व जिला पंचायत सदस्य आरती गौड़ ने भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। आरती गौड़ ने आरोप लगाया कि उर्मिला सनावर और उनके पति सुरेश राठौर मिलकर उन्हें बदनाम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि उनका अंकिता भंडारी हत्याकांड से कोई लेना-देना नहीं है और उनके खिलाफ झूठे आरोप लगाए जा रहे हैं। उन्होंने पार्टी और प्रशासन से दोनों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। आरती गौड़ का कहना है कि सोशल मीडिया पर बिना किसी ठोस प्रमाण के नाम उछालना न केवल गैरकानूनी है, बल्कि इससे किसी भी व्यक्ति की सामाजिक प्रतिष्ठा को गहरी चोट पहुंचती है।
सुरेश राठौर का पलटवार, एआई जनरेटेड ऑडियो का दावा
दूसरी ओर, भाजपा के पूर्व विधायक सुरेश राठौर ने भी इस पूरे मामले पर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सफाई दी है। उन्होंने कहा कि अंकिता भंडारी हत्याकांड से उनका कोई संबंध नहीं है और उर्मिला सनावर उनकी और उनकी पार्टी की छवि को धूमिल करने का प्रयास कर रही हैं। राठौर ने दावा किया कि जो ऑडियो रिकॉर्डिंग वायरल हो रही है, वह आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की मदद से तैयार की गई है और पूरी तरह फर्जी है। उन्होंने यह भी कहा कि आज के डिजिटल दौर में किसी की आवाज की नकल कर फर्जी ऑडियो बनाना आसान हो गया है और इसी तकनीक का दुरुपयोग कर उन्हें बदनाम किया जा रहा है।
कांग्रेस ने उठाई सीबीआई जांच की मांग
उर्मिला सनावर द्वारा जारी किए गए वीडियो के बाद इस मामले ने राजनीतिक रंग और गहरा कर लिया। कांग्रेस ने भाजपा पर सीधा हमला बोलते हुए इसे मुद्दा बनाया और अंकिता भंडारी हत्याकांड की सीबीआई जांच की मांग दोहराई। कांग्रेस नेताओं का कहना है कि सोशल मीडिया पर जो भी ऑडियो-वीडियो सामने आ रहे हैं, वे इस बात की ओर इशारा करते हैं कि इस मामले में कई बड़े नामों की भूमिका हो सकती है, जिसकी निष्पक्ष जांच जरूरी है।
2022 का अंकिता भंडारी हत्याकांड
गौरतलब है कि अंकिता भंडारी हत्याकांड वर्ष 2022 में सामने आया था। पौड़ी जिले की निवासी अंकिता की ऋषिकेश के एक रिसार्ट में हत्या कर दी गई थी। इस मामले ने पूरे उत्तराखंड में भारी आक्रोश पैदा किया था। लंबी सुनवाई के बाद जिला कोर्ट ने तीन आरोपितों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। हालांकि, इसके बावजूद समय-समय पर इस मामले से जुड़े नए विवाद और आरोप सामने आते रहे हैं।
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