Top
Begin typing your search above and press return to search.

योगी सरकार में रोजगार और कौशल विकास की बदली तस्वीर, 5.66 लाख से अधिक युवाओं को मिली ट्रेनिंग

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में प्रदेश सरकार की युवा-केंद्रित नीतियों ने न केवल राज्य के युवाओं के लिए कौशल प्रशिक्षण और रोजगार के नए द्वार खोले हैं

योगी सरकार में रोजगार और कौशल विकास की बदली तस्वीर, 5.66 लाख से अधिक युवाओं को मिली ट्रेनिंग
X

लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में प्रदेश सरकार की युवा-केंद्रित नीतियों ने न केवल राज्य के युवाओं के लिए कौशल प्रशिक्षण और रोजगार के नए द्वार खोले हैं, बल्कि उनमें स्वरोजगार, उद्यमिता और इनोवेशन का भी विकास किया है।

एक ओर राज्य सरकार स्किल इंडिया मिशन और दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्या योजना के तहत युवाओं को राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप आधुनिक तकनीक में प्रशिक्षित कर रही है, वहीं दूसरी ओर रोजगार मेलों और इंक्यूबेशन सेंटरों के माध्यम से रोजगार के अवसर भी प्रदान कर रही है।

जहां वर्ष 2017 के बाद से प्रदेश में आईटीआई और पॉलिटेक्निक संस्थानों का विस्तार ग्रामीण क्षेत्रों तक किया गया है, तो वहीं उच्च तकनीकी के इंजीनियरिंग और मेडिकल कॉलेजों की संख्या में भी उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है। सीएम योगी आदित्यनाथ की ये युवा केंद्रित पहलें विकसित यूपी, विकसित भारत-2047 के विजन को सफल बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम साबित हो रही हैं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में वर्ष 2017 से अब तक स्किल इंडिया मिशन और दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्या योजना के तहत 5 लाख 66 हजार से अधिक आईटीआई और पॉलिटेक्निक प्रशिक्षित युवाओं को मिशन रोजगार के माध्यम से नौकरियां प्राप्त हुई हैं। इसके साथ ही अप्रैल 2025 तक 2,800 से अधिक प्रशिक्षण केंद्रों के जरिए युवाओं को उद्योग उन्मुख कौशल प्रदान किया गया है, जिससे बेरोजगारी की दर में उल्लेखनीय कमी आई है। साथ ही सीएम युवा उद्यमी योजना के तहत युवाओं को स्व-रोजगार और स्टार्टअप अप भी विकसित करने के लिए हर संभव मदद की जाती है।

उत्तर प्रदेश में युवाओं के कौशल विकास व गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण सुनिश्चित करने के लिए 1,747 सक्रिय ट्रेनिंग पार्टनर्स का चयन किया गया है। जिनके माध्यम से युवाओं को उद्योगों की मांग के अनुरूप कौशल प्रदान किया जाता है। साथ ही इनक्यूबेशन सेंटरों के माधयम से उन्हें अत्याधुनिक तकनीकों जैसे डिजिटल मार्केटिंग, ईवी मैन्युफैक्चरिंग और एआई के साथ व्यवसायिक प्रशिक्षण भी प्रदान किया जा रहा है। यही नहीं समय-समय पर राज्य सरकार द्वारा कौशल प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाता है, जिसमें युवाओं को अपनी प्रतिभा प्रदर्शित करने का मंच मिलता है। कौशल प्रशिक्षण अभियानों और प्रतियोगिताओं में रिकॉर्ड संख्या में प्रदेश के युवाओं की भागीदारी ने उन्हें राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाया है, साथ ही उन्हें प्रगति की नई राह भी दिखाई है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथ के प्रयासों से प्रदेश में मेडिकल और इंजीनियरिंग संस्थानों की संख्या में भी उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। जहां वर्ष 2016-17 में यूपी में मात्र 42 मेडिकल कॉलेज थे तो वहीं वर्तमान में ये संख्या बढ़कर निजी व सरकारी को मिलाकर 80 हो चुकी है। इससे न केवल प्रदेश में एमबीबीएस सीटों की संख्या बढ़ी है, बल्कि स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता में भी सुधार आया है। इसी तरह उच्च तकनीकि प्रशिक्षण के लिए इंजीनियरिंग कॉलेजों में भी सीटों की संख्या में बढ़ोत्तरी की गई है। साथ ही इन संस्थानों में बनाए गए स्टार्टअप इंक्यूबेटर्स के जरिए युवा उद्यमिता को बढ़ावा मिला। ये पहलें न केवल ग्रामीण क्षेत्रों तक पहुंची हैं, बल्कि महिलाओं, ओबीसी और एससी/एसटी समुदायों के लिए आरक्षण सुनिश्चित कर समावेशी विकास को भी सुनिश्चित कर रही हैं।

रोजगार सृजन की दिशा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथ का सबसे प्रभावी कदम नियमित रोजगार मेलों का आयोजन है। इसी क्रम में अगस्त 2025 में लखनऊ के तीन दिवसीय 'रोजगार महाकुंभ' में 100 कंपनियों ने 50,000 से अधिक नौकरियों के अवसर प्रदेश के युवाओं को प्रदान किए। इन रोजगार मेलों में राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर की कंपनियों जैसे- एसबीआई, एचडीएफसी, स्विगी, जोमैटो, अमेजन और महिंद्रा जैसी दिग्गज कंपनियां शामिल होती हैं। आने वाले दिनों में लखनऊ, गोरखपुर, झांसी, वाराणसी और मुजफ्फरनगर में रोजगार मेलों का आयोजन होने जा रहा है। जिसमें 100 से अधिक कंपनियों की भागीदारी व 15,000 रोजगार के अवसरों के सृजन की संभावना है। साथ ही प्रत्येक जिले में मासिक प्लेसमेंट ड्राइव अभियान भी चलाया जाता है, जो युवाओं को सीधे नियोक्ताओं से जोड़ता है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के विजन के मुताबिक आने वाले वर्षों में डिजिटल, एआई और ग्रीन जॉब्स पर फोकस के साथ उत्तर प्रदेश को स्किल हब बनाने का लक्ष्य तय किया गया है।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it