सपा ने की मांग, एसआईआर से पहले जाति विशेष की बीएलओ हटाये आयोग
समाजवादी पार्टी (सपा) ने मांग की हैं कि उत्तर प्रदेश में 403 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के 1.62 लाख से अधिक पोलिंग स्टेशनों के 15 करोड़ 44 लाख 24 मतदाताओं का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) कराने से पूर्व जाति व धर्म के आधार पर नियुक्ति किये गये बीएलओ व एडीएम (इलेक्शन) तथा ईआरओ को हटाया जाये ताकि निर्वाचन आयोग की विश्वसनीयता पर प्रश्नचिह्न न लग सके

एसआईआर से पहले जाति विशेष की बीएलओ हटाये आयोग: सपा
लखनऊ। समाजवादी पार्टी (सपा) ने मांग की हैं कि उत्तर प्रदेश में 403 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के 1.62 लाख से अधिक पोलिंग स्टेशनों के 15 करोड़ 44 लाख 24 मतदाताओं का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) कराने से पूर्व जाति व धर्म के आधार पर नियुक्ति किये गये बीएलओ व एडीएम (इलेक्शन) तथा ईआरओ को हटाया जाये ताकि निर्वाचन आयोग की विश्वसनीयता पर प्रश्नचिह्न न लग सके।
पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष श्याम लाल पाल ने मुख्य निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन देकर कहा है कि प्रदेश में एसआईआर कराने के लिए एक लाख 62 हजार 486 पोलिंग स्टेशनों पर बीएलओ तथा 403 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों में ईआरओ व सभी जिलों में एडीएम (इलेक्शन) की नियुक्ति जाति व धर्म के आधार पर प्रदेश में भाजपा सरकार की मानसिकता वाले अधिकारियों की हुई है।
ज्ञापन में कहा गया है कि प्रदेश में विधान सभा के उप-चुनावों में 23 अगस्त 2024 को कानपुर नगर की सीसामऊ विधान सभा और 23 सितम्बर 2024 को अम्बेडकर नगर में कटेहरी विधान सभा उप-चुनाव में जाति व धर्म के आधार पर विधान सभा के बीएलओ बदल दिये जाने के बारे में शिकायत की गई थी जिसे अनसुना कर दिया गया था।
प्रदेश में 2024 में विधान सभा उप-चुनाव में बीएलओ व मतदान कर्मियों तथा पीठासीन अधिकारियों व मतगणना कर्मियों आदि की नियुक्ति जाति व धर्म के आधार पर सत्ता की मानसिकता वाले लोगों की किये जाने की शिकायतें की गई लेकिन, कोई कार्रवाई नहीं हुई। भारत निर्वाचन आयोग मूकदर्शक की भूमिका में बना रहा।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी को यह ज्ञापन के.के. श्रीवास्तव, डॉ. हरिश्चन्द्र,राधेश्याम सिंह ने सौपते हुए त्वरित कार्रवाई की मांग की है।


