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संजय निरुपम का तंज: प्रचार से नदारद नेता बाद में करते हैं ‘वोट चोरी’ का ड्रामा

शिवसेना प्रवक्ता संजय निरुपम ने महाराष्ट्र के स्थानीय निकाय चुनाव, नासिक महाकुंभ में पेड़ काटने और अन्य मुद्दों पर कहा कि महाराष्ट्र में लगभग 400 से ज्यादा नगर परिषदों में चुनाव हो रहे हैं

संजय निरुपम का तंज: प्रचार से नदारद नेता बाद में करते हैं ‘वोट चोरी’ का ड्रामा
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महाराष्ट्र निकाय चुनाव पर संजय निरुपम का हमला-विपक्ष प्रचार से गायब, बाद में ईवीएम पर आरोप

  • निरुपम बोले-प्रचार नहीं करने वाले नेता जनता का भरोसा कैसे जीतेंगे?
  • नासिक महाकुंभ पर संजय निरुपम की अपील-आयोजन में पर्यावरण संतुलन बनाए रखना जरूरी
  • शिवसेना प्रवक्ता का बयान: चुनाव प्रचार भी करें, पर्यावरण की रक्षा भी

मुंबई। शिवसेना प्रवक्ता संजय निरुपम ने महाराष्ट्र के स्थानीय निकाय चुनाव, नासिक महाकुंभ में पेड़ काटने और अन्य मुद्दों पर कहा कि महाराष्ट्र में लगभग 400 से ज्यादा नगर परिषदों में चुनाव हो रहे हैं। आज चुनाव प्रचार का आखिरी दिन है और कल मतदान होना है।

उन्होंने बताया कि महायुति ने तय किया था कि सभी पार्टियां एक-दूसरे के खिलाफ लड़ेंगी। हम एक गठबंधन के तहत स्थानीय चुनाव नहीं लड़ेंगे। पिछले दस-पंद्रह दिनों में देखा गया कि जो पार्टियां सरकार में शामिल हैं, उनके नेता जोरदार प्रचार कर रहे हैं। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उप मुख्यमंत्री अजित पवार जिले-दर-जिले जाकर प्रचार कर रहे हैं, जबकि विपक्ष के नेता प्रचार से बिल्कुल नदारद हैं।

निरुपम ने कहा कि जिन नेताओं ने प्रचार किया, लोग उनके साथ खड़े रहेंगे। वहीं, जो नेता एयर कंडीशनर वाले कमरे में बैठकर प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हैं, उन्हें लोग वोट क्यों देंगे? चुनाव हारने के बाद वही लोग वोट चोरी और ईवीएम में घोटाले का ड्रामा करने लगते हैं। उनका कहना है कि पहले तो ये लोग प्रचार नहीं करते, बाद में यही लोग वोट चोरी का ड्रामा भी करते हैं। ये कहीं से भी सही नहीं है। हालांकि उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि जरूरी नहीं कि जो प्रचार करे वही चुनाव जीते, लेकिन इसका मतलब यह भी नहीं कि आप चुनाव प्रचार ही न करें।

नासिक महाकुंभ पर बात करते हुए निरुपम ने कहा कि यह आयोजन अपने आप में बहुत महत्वपूर्ण है और पूरा देश इसकी सफलता के लिए खड़ा है, लेकिन इतना बड़ा आयोजन करते समय पर्यावरण का ध्यान रखना जरूरी है। पेड़ काटने से बचना चाहिए, क्योंकि वृक्ष हमारे लिए बहुत जरूरी हैं। उन्होंने कहा कि अगर हम पूरे देश में प्रकृति की रक्षा करेंगे, तभी प्रकृति हमारी रक्षा करेगी।

निरुपम ने साफ कहा कि बड़े आयोजन के समय संतुलन बनाए रखना बहुत जरूरी है। महाकुंभ जैसे अनुष्ठानों में लोगों की संख्या बहुत होती है, लेकिन सफलता पर्यावरण के संतुलन पर भी निर्भर करती है। इसलिए पेड़ काटना नहीं चाहिए और सरकार को ऐसे उपाय करने चाहिए जिससे आयोजन सफल हो और पर्यावरण सुरक्षित रहे।


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