गाजियाबाद में क्लब-बार-रेस्टोरेंट्स पर बड़ी कार्रवाई, 35 प्रतिष्ठानों की सघन जांच
उत्तरी गोवा के अरपोरा स्थित एक नाइट क्लब में हाल ही में हुई हृदय विदारक दुर्घटना के बाद उत्तर प्रदेश में भी सुरक्षा एजेंसियां सतर्क मोड पर आ गई हैं

गाजियाबाद। उत्तरी गोवा के अरपोरा स्थित एक नाइट क्लब में हाल ही में हुई हृदय विदारक दुर्घटना के बाद उत्तर प्रदेश में भी सुरक्षा एजेंसियां सतर्क मोड पर आ गई हैं।
अपर पुलिस महानिदेशक, अग्निशमन एवं आपात सेवा, लखनऊ, तथा पुलिस आयुक्त, कमिश्नरेट गाजियाबाद के निर्देश पर जिले में संचालित भीड़भाड़ वाले क्लब, बार, रेस्टोरेंट, बैंक्वेट हॉल, मॉल और अन्य ऐसे स्थलों पर व्यापक अग्नि सुरक्षा जांच अभियान चलाया गया।
इस अभियान के तहत गाजियाबाद के विभिन्न क्षेत्रों में कुल 35 स्थलों का निरीक्षण किया गया। इनमें वजीराबाद रोड स्थित रजवाड़ा फार्म हाउस, राजनगर एक्सटेंशन स्थित के डब्ल्यू दिल्ली-6, स्टार हैरीटेज बैंक्वेट हॉल, वीवीआईपी स्टाइल मॉल/मल्टीप्लेक्स, आरडीसी राजनगर स्थित शगुन स्वीट्स रेस्टोरेंट, जीटी रोड का होटल वेस्ट व्यू, मोदीनगर के महाराजा होटल एंड रेस्टोरेंट तथा नील होटल, इंदिरापुरम के ईरोज मॉल, डी मॉल, जयपुरिया मॉल और शिप्रा मॉल में स्थित दर्जनों रेस्टोरेंट व फूड आउटलेट जैसे बीकानेरवाला, पिज्जा हट, मैकडोनाल्ड्स, बर्गर किंग, टाको बेल, सबवे, हल्दीराम, सागर रत्ना, पंजाब ग्रिल, कैलिफोर्निया बरीटो आदि शामिल रहे।
इसके अतिरिक्त वसुंधरा सेक्टर-3 स्थित द क्लाउड इन होटल ग्रैंड वैली में भी अग्निशमन प्रणाली की जांच की गई। परीक्षण के दौरान कई प्रतिष्ठानों में अग्निशमन उपकरण, अलार्म प्रणाली, हाइड्रेंट, ऑटोमेटिक स्प्रिंकलर और एग्जिट रूट की स्थिति का विस्तृत आंकलन किया गया।
इस दौरान रजवाड़ा फार्म हाउस, खुमारी रेस्टोरेंट (ईरोज मॉल, इंदिरापुरम) और शगुन स्वीट्स रेस्टोरेंट (आरडीसी, राजनगर) में अग्नि सुरक्षा व्यवस्थाओं में कमी पाई गई, जिसके बाद संबंधित संचालकों को कमियां दूर कर अनुपालन रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए नोटिस जारी किए गए। अभियान के दौरान मौजूद कर्मचारियों को फायर एक्सटिंग्विशर और अन्य अग्निशमन उपकरणों के संचालन का अल्प प्रशिक्षण भी प्रदान किया गया।
अधिकारियों ने आग से होने वाली जन-धन हानि के बचाव के उपायों के प्रति जागरूक किया। साथ ही सभी भवन स्वामियों को विद्युत सुरक्षा प्रणाली का ऑडिट कराए जाने, अग्निशमन सिस्टम को हमेशा ‘ऑटो मोड’ में और कार्यशील अवस्था में रखने तथा सभी निकास मार्गों को अवरोध-मुक्त रखने के स्पष्ट निर्देश दिए गए। अग्निशमन विभाग ने कहा कि भविष्य में भी ऐसे निरीक्षण लगातार जारी रहेंगे ताकि किसी भी प्रकार की दुर्घटना को रोका जा सके और सार्वजनिक स्थलों पर लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।


