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यूपी की कानून-व्यवस्था 15 सालों में सबसे बेहतर

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में विपक्ष के हंगामे पर नाराजगी जताई और दावा किया कि यूपी की कानून-व्यवस्था बीते 15 सालों में सबसे बेहतर है

यूपी की कानून-व्यवस्था 15 सालों में सबसे बेहतर
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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में विपक्ष के हंगामे पर नाराजगी जताई और दावा किया कि यूपी की कानून-व्यवस्था बीते 15 सालों में सबसे बेहतर है और पूरे देश ने यूपी की अच्छी कानून व्यवस्था को स्वीकारा है। जिसका प्रमाण है कि इन्वेस्टर्स समिट में उत्तर प्रदेश को 4 लाख 68 हजार करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिले। (21:59)
सदन में अनुपूरक बजट पेश होने के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पत्रकारों से बातचीत में विपक्ष के हंगामे पर कहा कि विपक्ष खासतौर पर कांग्रेस और कांग्रेस के नकारात्मक रैवये के कारण विधानसभा में सार्थक चर्चा नहीं हो पा रही है।

उन्होंने कहा कि बहुत दुखद स्थिति है कि सदन को चर्चा के लिए चुनने के बजाए अनावश्यक हो-हल्ला का माध्यम बनाया जा रहा है। योगी ने कहा कि चंद मुट्ठी भर लोग पूरी विधानसभा को बंधक बनाकर अन्य सदस्यों के हकों को मारने का प्रयास कर रहे हैं, जो लोकतन्त्र के लिए शुभ लक्षण नहीं है।

विपक्ष द्वारा कानून व्यवस्था के मुद्दे पर हंगामा किए जाने पर योगी ने कहा कि यूपी की कानून-व्यवस्था वर्तमान में पिछले 15 सालों में सबसे अच्छी है। केवल यूपी में नहीं पूरे देश में यूपी की कानून व्यवस्था की प्रशंसा की है और स्वीकारा है, जिसका परिणाम है कि इन्वेस्टर्स समिट में यूपी को 4 लाख 68 हजार करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। यही नहीं 60 हजार करोड़ रुपये के प्रस्तावों के लिए ग्रान्उड बैंकिग सरमेनी के लिए प्रधानमंत्री खुद लखनऊ आए।

उन्होंने कहा कि शीघ्र ही हम 50 हजार करोड़ के अन्य निवेश की शुरुआत और करने वाले हैं। हमने टीम वर्क से 15 वर्ष की जड़ता को तोड़ने हुए कानून व्यवस्था को बेहतर किया है, जिससे निवेश यूपी का रहा है।

योगी ने कहा कि देवरिया के महिला शेल्टर होम की जिस घटना के मुद्दे को सपा-कांग्रेस ने उठाया है कि उस पर हमारी सरकार ने कार्यवाही की है। उन्होंने कहा कि सपा-कांग्रेस ने अपने शासन काल में क्या गुल खिलाया यह सभी जानते हैं। देवरिया शेल्टर होम को 2009 में मान्यता मिली थी तब किसकी सरकार थी किसी से छिपा नहीं है। उस संस्था को अनवरत अनुदान 2009 से 2017 तक मिलता रहा।

योगी ने कहा कि पालना गृह मामले में सीबीआई की जांच में प्रदेश के जो शेल्टर होम रडार में आए उन सभी संस्थाओं को हमारी सरकार ने जून 2017 में बंद करने उनके अनुदान समाप्त व मान्यता खत्म करने का प्रावधान किया था।

उन्होंने कहा कि देवरिया मामले में हमारी सरकार ने सख्त कार्यवाही की है। प्रदेश सरकार ने उन सभी अधिकारियों पर कार्यवाही है, जिन्होंने कार्रवाई में थोड़ी भी शिथिलता बरती। यही नहीं सरकार ने इस पूरे मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश की है और जब तक सीबीआई इस मामले को टेकअप नहीं कर रही है तब तक इस मामले को यूपी एडीजी क्राइम के नेतृत्व में एसपी स्तर की दो महिला पुलिस अधिकारी कुल 03 सदस्यीय टीम निगरानी कर रही है। यही नहीं हाईकोर्ट स्वयं देवरिया मामले की निगरानी कर रहा है।


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