Top
Begin typing your search above and press return to search.

झारखंड के रामगढ़ में पुलिस हिरासत में युवक की मौत पर बवाल, 53 घंटे बाद हुआ अंतिम संस्कार

झारखंड के रामगढ़ जिले में पुलिस हिरासत में दलित युवक अनिकेत भुइयां की मौत के 53 घंटे बाद शनिवार दोपहर उसके परिजन शव के अंतिम संस्कार को राजी हुए

झारखंड के रामगढ़ में पुलिस हिरासत में युवक की मौत पर बवाल, 53 घंटे बाद हुआ अंतिम संस्कार
X

रांची। झारखंड के रामगढ़ जिले में पुलिस हिरासत में दलित युवक अनिकेत भुइयां की मौत के 53 घंटे बाद शनिवार दोपहर उसके परिजन शव के अंतिम संस्कार को राजी हुए। परिजनों का आरोप है कि रामगढ़ थाने की पुलिस ने पीट-पीटकर अनिकेत की हत्या कर दी है।

उनका कहना था कि जब तक पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं होती, शव का अंतिम संस्कार नहीं करेंगे।

हिरासत में मौत का मामला झारखंड विधानसभा में 23 फरवरी को नेता प्रतिपक्ष एवं कई अन्य विधायकों ने उठाया था। इसके बाद रामगढ़ जिला प्रशासन ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के निर्देशों के अनुसार इसकी न्यायिक जांच कराने का निर्णय लिया है।

अनिकेत को रामगढ़ की पुलिस 21 फरवरी को चोरी के कथित मामले में पूछताछ के लिए थाना लेकर आई थी। 22 फरवरी को उसकी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी। पुलिस ने परिजनों को जानकारी दी कि अनिकेत ने थाना के हाजत में कंबल के फंदे से लटककर आत्महत्या कर ली है।

दूसरी तरफ परिजनों का कहना है कि पुलिस ने टॉर्चर कर अनिकेत को मार डाला है। झारखंड विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अमर कुमार बाउरी, हजारीबाग के सांसद जयंत सिन्हा, गिरिडीह के सांसद चंद्र प्रकाश चौधरी भी अनिकेत के घर पहुंचे थे। उन्होंने पुलिस को कठघरे में खड़ा करते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करने समेत परिजनों को उचित मुआवजा देने की मांग की थी।

शनिवार को जिला प्रशासन के अधिकारियों ने परिजनों को समझा-बुझाकर शव के अंतिम संस्कार पर राजी कराया। प्रशासन ने लिखित तौर पर अंतिम संस्कार के लिए परिजनों का 30 हजार नकद देने और सरकारी नियमों के अनुसार 15 लाख रुपए मुआवजे की प्रक्रिया शुरू करने, 5 डिसमिल जमीन, राशन कार्ड, मृतक के आश्रितों को योग्यता अनुसार नौकरी और एक आश्रित को पेंशन देने की बात कही है।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it