सिख दंगों पर टाईटलर का स्टिंग...
सिख कमेटी प्रमुख ने किया दावा टाईटलर ने कबूला कत्लेआम

नई दिल्ली। कांग्रेसी नेता जगदीश टाईटलर के 1984 दंगों में कबूलनामों का दावा करते हुए यहां जारी किए गए वीडियो के बाद सिख राजनीति में भूचाल आ गया है। दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने आज कांग्रेस नेता जगदीश टाईटलर का स्टिंग ऑपरेशन जारी करते हुए टाईटलर द्वारा 1984 में कथित तौर पर 100 सिखों का कत्ल कबूल करने का दावा किया। कमेटी के अध्यक्ष, शिरोमणी अकाली दल के राष्ट्रीय प्रवक्ता मनजीत सिंह जीके ने एक के बाद एक पांच वीडियो क्लिप जारी किए और बताया कि ये क्लिप किसी अज्ञात व्यक्ति ने उन तक पहुंचाएं हैं।
श्री जीके ने बताया कि हाल ही में उनके घर के बाहर उनके सुरक्षा कर्मी को एक सफेद लिफाफा कोई अन्जान सज्जन ये वीडियो क्लिप दे गया था। इसमें पेन ड्राइव के साथ कागजात थे जिन्हें पढऩे से समझ आया कि इसमें 8 दिसम्बर 2011 की 5 वीडियो की स्क्रिप्ट लिखी हुई हैं। मैंने तुरन्त इस लिफाफे को गुरुद्वारा रकाबगंज साहिब स्थित अपने दफ्तर में अपने निजी सहायक के पास भेजा ताकि अगली कार्यवाही के लिए कमेटी तय कर राय दे। जब पेन ड्राईव को चला कर देखा तो उसमें टाईटलर के हुए किसी स्टिंग ऑपरेशन की 5 वीडियो थे। उन्होंने पे्रस वार्ता कर यह जानकारी देते हुए कहा कि हम अगली कार्यवाई के लिए इस लिफाफे को सीबीआई तथा दिल्ली पुलिस को सौंपने जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि वीडियों नम्बर-तीन में टाईटलर कह रहे हैं कि उसने 100 सरदारों का कत्ल किया है पर कुछ नहीं हुआ जांच जारी है। यह टाईटलर का ईकबालिया जुर्म है। अगर अब जांच ऐजेंसियों ने 24 घटें के भीतर टाईटलर को गिरफ्तार नहीं किया तो हम पुलिस मुख्यालय का घेराव करने पर मजबूर होंगे। अकाली दल इस मसले पर अब चुप नहीं बैठेगा,जरूरत पडऩे पर अकाली सांसद इस मसले को संसद में भी उठायेंगे। उन्होंने सीडी के हवाले से कई रहस्योदघाटन किए। इसके बाद तो भाजपा के राष्ट्रीय मंत्री सरदार आरपी सिंह ने अतिरिक्त पुलिस आयुक्त, नई दिल्ली के समक्ष जगदीश टाइटलर के खिलाफपुलिस शिकायत दर्ज करवाई है। आर पी सिंह ने बताया कि वीडिओ नम्बर-4 में तो टाइटलर ने न्यायपालिका पर भी अपनी पार्टी की पकड़ होने का दावा किया और कहा कि उनके पास केसों को 15 वर्ष तक लटकाने का तरीका है और इस तरह उसका कोई बिगाड़ नहीं सकता है।
वरिष्ठ अधिवक्ता एचएस फुल्का ने कहा कि सीबीआई को पूरे मामले की जांच करनी चाहिए और स्टिंग को भी फॉरेंसिक लैब में जांच के लिए भेजा जाना चाहिए।


