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हजारों लोग सुपर बल्यू मून की झलक पाने के लिए बेताब

भारत का सिलिकन वैली कहे जाने वाले शहर बेंगलुरु में बुधवार को हजारों लोग सुपर बल्यू मून अर्थात वृहदाकार नीला चांद झलक पाने को बेताब दिखे।

हजारों लोग सुपर बल्यू मून की झलक पाने के लिए बेताब
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बेंगलुरु। भारत का सिलिकन वैली कहे जाने वाले शहर बेंगलुरु में बुधवार को हजारों लोग सुपर बल्यू मून अर्थात वृहदाकार नीला चांद झलक पाने को बेताब दिखे। दरअसल, आज चंद्रग्रण दिखेगा वह भी इस साल जनवरी में ही दूसरी बार चांद धरती से सबसे नजदीक होगा। जाहिर है कि यह नीला चांद आकार में सामान्य से बड़ा होगा।

इस चांद को दीदार करने के लिए शहर के नेहरू ताराघर में खास तैयारी की गई है, जहां कुछेक हजार लोग बुधवार की शाम 6.21 बजे से 7.37 बजे के बीच चंद्रग्रहण की इस विशेष आकाशीय घटना को देख सकेंगे।

नेहरू ताराघर के निदेशक प्रमोद जी. गलगली ने आईएएनएस से बातचीत में कहा, "इस चंद्रग्रहण की खासियत है कि इस बार चांद आकार में सामान्य से बड़ा दिखेगा और इस महीने की दूसरी पूर्णमासी का यह नीला चांद और रक्तिम चांद (चंद्रग्रहण के दौरान दिखने वाला चांद) सब एक साथ इत्तिफाकन होगा।

ताराघर में इस नीला चांद का दीदार करने के लिए दूरबीन की व्यवस्था की जाएगी। निदेशक ने कहा कि नंगी आंखों से भी चंद्रग्रहण देखना बिल्कुल सुरक्षित है। इससे पहले ऐसा चंद्रग्रहण 1982 में दिखा था जब नीला चांद और पूर्ण चंद्रग्रहण एक साथ भारत में दिखा है।

गलगली ने बताया कि चांद जब अपनी कक्षा में पृथ्वी से सबसे नजदीक होता है तो सामान्य से 10 फीसदी ज्यादा बड़ा दिखता है। इसे सुपरमून कहते हैं और पूर्णमासी का चांद ब्ल्यूमून यानी नीला चांद कहलाता है। इस तरह यह सुपर ब्ल्यूमून जनवरी 2018 में दूसरी बार दिखेगा, इससे पहले लोगों ने दो जनवरी को इसका दीदार किया था।

चंद्रग्रहण के दौरान चांद लाल दिखता है जिसे ब्लड मून अर्थात रक्तिम चांद कहा जाता है। चंद्रग्रहण शाम 4.21 बजे शुरू होगा जब चांद पृथ्वी की कक्षा में प्रवेश करेगा। 6.21 बजे पृथ्वी की छाया चांद पर होगी और अंधेरा छाया रहेगा। 7.37 बजे रक्तिम चांद दिखेगा। रात 9.38 बजे चंद्रग्रहण समाप्त होगा जब चांद धरती की छाया से निकल जाएगा।


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