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पंजाब के 55 ऐसे भी स्कूल है जहां शिक्षक नही 

पंजाब के सीमावर्ती इलाकों में लगभग 55 सरकारी स्कूल ऐसे हैं जहां छात्र तो हैं,लेकिन शिक्षक नहीं

पंजाब के 55 ऐसे भी स्कूल है जहां शिक्षक नही 
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चंडीगढ़। पंजाब के सीमावर्ती इलाकों में लगभग 55 सरकारी स्कूल ऐसे हैं जहां छात्र तो हैं,लेकिन शिक्षक नहीं है।

प्रारंभिक और माध्यमिक शिक्षा विभाग के आंकड़ों में कुछ और चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है।

सीमावर्ती क्षेत्रों में 150 प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालय हैं, जिनमें प्रत्येक में सिर्फ एक शिक्षक है। वहीं पूरे राज्य में महज एक शिक्षक के साथ एक हजार से अधिक स्कूल चल रहे हैं।

शिक्षा विभाग के अधिकारियों का कहना है कि सरकारी स्कूलों में बुनियादी सुविधाओं की कमी और राजनीतिक कनेक्शन शिक्षकों के लिए सीमावर्ती क्षेत्रों में पोस्टिंग का विकल्प चुनने के लिए निवारक के रूप में काम कर रहे हैं।

बॉर्डर बेल्ट के कुछ स्कूल पहले ही बंद हो चुके हैं जबकि शेष बचे स्कूलों में से अधिकांश में कोई शिक्षक नहीं है।

अधिकारियों ने स्वीकार किया कि पिछले शिक्षा मंत्री, ओ. पी. सोनी द्वारा 200 से अधिक शिक्षकों को सीमावर्ती क्षेत्रों से स्थानांतरित किया गया था। हाल ही में छह जून को हुए कैबिनेट फेरबदल में उनसे शिक्षा मंत्रालय का कार्यभार ले लिया गया है।

दिलचस्प बात यह है कि राजनीतिक पहुंच रखने वाले शिक्षक फायदे वाली स्थिति में हैं। इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि करीब 410 स्कूलों में 605 शिक्षक तैनात हैं, जिनमें से प्रत्येक के पास छात्र संख्या 20 से कम है।

पंजाब के शिक्षा मंत्री विजय इंद्र सिंगला ने बताया एक जगह से दूसरी जगह स्थानांतरण प्रक्रिया शुरू हो गई है और सभी स्कूलों में शिक्षक की तैनाती की समीक्षा की जा रही है।

एक सरकारी प्रवक्ता ने कहीा कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने मंगलवार को नई स्थानांतरण नीति के तहत शिक्षकों के लिए पहला स्थानांतरण आदेश जारी किया, जिससे व्यवस्था में पारदर्शिता सुनिश्चित हुई।

जनवरी में कैबिनेट द्वारा अनुमोदित स्कूल शिक्षा विभाग की नई नीति के तहत शिक्षण स्टाफ के सभी स्थानांतरण अब केवल ऑनलाइन किए जा रहे हैं। इसमें कोई मानवीय हस्तक्षेप नहीं है। इस प्रकार तबादलों में व्यापक पैमाने पर भ्रष्टाचार को समाप्त किया गया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने अन्य विभागों को भी इस नीति का विस्तार करने की योजना बनाई है।

इस नीति के अनुसार एक बार स्थानांतरण आदेश जारी होने पर उसका पालन करना होगा। इसके अलावा नई जगह पर तीन साल बिताने से पहले किसी भी नए स्थानांतरण पर विचार नहीं किया जाएगा।


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