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एक्सप्रेस-वे के किनारे बसे शहर का नाम होगा यमुना सिटी

यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण का गठन हुए 16 साल होने के बाद अभी तक प्रस्तावित शहर नाम के पहचान को मोहताज था

एक्सप्रेस-वे के किनारे बसे शहर का नाम होगा यमुना सिटी
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ग्रेटर नोएडा। यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण का गठन हुए 16 साल होने के बाद अभी तक प्रस्तावित शहर नाम के पहचान को मोहताज था। अब नोएडा व ग्रेटर नोएडा की तरह यमुना एक्सप्रेस-वे शहर को भी नाम मिलने जा रहा है। ग्रेटर नोएडा से आगरा तक यमुना एक्सप्रेस-वे के किनारे प्रस्तावित शहर को यमुना सिटी का नाम दिया जाएगा। प्राधिकरण की 28 अप्रैल को होने वाली बोर्ड बैठक में नाम पर मोहर लग जाएगा।

24 अप्रैल 2002 को ताज एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण के नाम से इसका गठन हुआ था। 2007 में इसका नाम बदल कर यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण कर दिया गया था। ग्रेटर नोएडा से आगरा तक 162 किलोमीटर लंबे एक्सप्रेस-वे निर्माण को लेकर प्राधिकरण का गठन हुआ था।

पहले प्राधिकरण ने एक्सप्रेस-वे निर्माण को लेकर आगरा तक जमीन का अधिग्रहण किया। 2009 में यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने सबसे पहले सेक्टर-18 व 20 में 21 हजार आवासीय भूखंडों की योजना निकाली। इसके बाद सेक्टर-17ए में संस्थागत भूखंडों की योजना निकाली गई। जिसमें करीब विवि, तकनीकी व मैनेजमेंट कॉलेज के लिए 13 भूखंड आबंटित किया गया। इसके बाद एक हजार हेक्टेयर में तीन स्पेशल डवलपमेंट जोन के तहत येाजना निकाली गई। जिसमें जेपी को एक हजार हेक्टेयर जमीन आबंटित किया गया था। जिसमें फार्मूला वन व स्पोटर्स सिटी बना है।

प्राधिकरण ने एक्सप्रेस-वे के किनारे पहले चरण में जेवर तक 35 हजार हेक्टेयर में शहर बसाने का फैसला लिया गया। बाद में ग्रेटर नोएडा से आगरा तक एक्सप्रेस-वे के दोनों तरफ 15 किलोमीटर के दायरे में अर्बन के लिए करीब 1184 गांवों को प्राधिकरण की अधिसूचित गांवों में शामिल किया गया। यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण में अब काफी विकास हो चुका है। कई औद्योगिक भूखंड आबंटित हो चुका है। जेवर एयरपोर्ट का निर्माण कार्य भी जल्द शुरू होने की उम्मीद है।

इन सबके बाद भी अभी तक शहर को नाम की पहचान नहीं मिल पाई। यमुना एक्सप्रेस-वे में निवेश के आने वाले निवेशक प्राधिकरण के अधिकारियों से जब शहर का नाम जानने का प्रयास करते हैं तो अधिकारियों के सामने असंजस की स्थिति पैदा हो जाती है।

ऐसे में अब प्राधिकरण ने शहर को नाम देने का फैसला लिया है। ग्रेटर नोएडा से आगरा तक एक्सप्रेस-वे के दोनों तरफ बसने वाले शहर को यमुना सिटी का नाम देने का फैसला लिया गया है। यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ओएसडी शैलेंद्र भाटिया ने बताया कि यमुना सिटी नाम देने पर अभी अंतिम फैसला नहीं लिया गया है। अभी इस नाम पर विचार किया जा रहा है।


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