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पाठक तय करेगा कि मीडिया कितना स्वतंत्र रहे और क्या सीमाएं हों
विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस पर ग्रामीण पत्रकारिता विकास संस्थान द्वारा भूमंडलीकरण के दौर में मीडिया की स्वतंत्रता और सीमाएं " विषय पर परिसंवाद और वरिष्ठ पत्रकार सम्मान समारोह आयोजित किया गया

ग्वालियर: भूमंडलीकरण के दौर में जहां मीडिया का दायरा बढ़ा है वहीं चुनौतियां भी बढ़ी हैं । असली और सबसे कठिन चुनौती भरोसे की है जो सोशल मीडिया के दौर में और विकराल होती जा रही है । इस भरोसे को कायम रखने की लक्ष्मण रेखा मीडिया से जुड़े लोगों को स्वयं ही तय करना होगी । इसी सीमा की रक्षा के जरिये ही प्रेस और मीडिया अपनी स्वतंत्रता की रक्षा कर सकेगी।
यह बात शहर के वरिष्ठ वक्ताओं ने ग्रामीण पत्रकारिता विकास संस्थान और गूंज द्वारा विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस पर आयोजित "भूमंडलीकरण के दौर में मीडिया की स्वतंत्रता और सीमाएं " विषय पर आयोजित परिसंवाद और वरिष्ठ पत्रकार सम्मान समारोह में कही । इस परिसंवाद के मुख्य वक्ता के तौर पर नईदुनिया के संपादक वीरेंद्र तिवारी थे । विशिष्ठ वक्ता के रूप में स्वदेश के संपादक श्री चंद्रवेश पांडे , पीपुल्स समाचार के संपादक श्री अर्पण राऊत थे और जनसंपर्क विभाग के सहायक संचालक मधु सोलपुरकर मौजूद रहे। कार्यक्रम का विषय प्रवर्तन वरिष्ठ श्री देव श्रीमाली ने और स्वागत भाषण कृति सिंह ने दिया।
इनका हुआ सम्मान
आयोजन में ग्वालियर के वरिष्ठ पत्रकार डॉ सुरेश सम्राट, डॉ केशव पांडे , श्री राकेश अचल और श्री देव श्रीमाली आदि संपादकों का गूंज की डायरेक्टर कृति सिंह द्वारा सम्मान किया गया ।

भूमंडलीकरण के दौर में मीडिया की स्वतंत्रता और सीमाएं
कार्यक्रम का विषय प्रवर्तन वरिष्ठ पत्रकार और ग्रामीण पत्रकारिता विकास संस्थान के अध्यक्ष देव श्रीमाली ने किया उन्होंने कहा कि आज के समय में प्रेस की स्वतंत्रता बेहद आवश्यकता है क्योंकि लोकतंत्र की रक्षा के लिए प्रेस का स्वतंत्र होना जरूरी जरूरी है.
वीरेन्द्र तिवारी - संपादक नई दुनिया, के विचार
आयोजन के मुख्य वक्ता नई दुनिया अखबार के संपादक वीरेंद्र तिवारी ने समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि भूमंडलीकरण के दौर में जब व्यवसायिकता हावी होती है तो बहुत कुछ मिलता है लेकिन बहुत कुछ हमसे छीना भी जाता है कार्यपालिका विधायिका और न्यायपालिका के साथ अब पत्रकारिता भी आम आदमी को साधने का अभियान चला रहा है लेकिन अभी भी पत्रकारों के हितों की बात खुलकर कोई नहीं करता है और ना पत्रकारों के हितों में कोई आंदोलन आज तक देखने को मिला है लोकतंत्र की रक्षा तभी हो पाएगी जब प्रेस स्वतंत्र रूप से काम कर पाएगा ऐसे में समाज को आज फ्री प्रेस की बेहद जरूरत है।
अर्पण राऊत , संपादक पीपुल्स समाचार, के विचार
पीपुल्स समाचार पत्र के संपादक अर्पण राउत ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि प्रेस की स्वतंत्रता में लीडरशिप की महत्वपूर्ण भूमिका है इसके साथ ही पत्रकारों को जरूरत है कि अपने दायित्व को पूरी चेतना के साथ पूरा करें।
चंद्रवेश पांडे संपादक स्वदेश, के विचार
स्वदेश समाचार पत्र के संपादक श्री चंद्रवेश पांडे ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि स्वतंत्र पत्रकारों को अपनी चेतना बनाए रखनी चाहिए इसी से भूमंडलीकरण के इस दौर में स्वतंत्र पत्रकारिता को बचाया जा सकता है समाज सही है तो मीडिया भी सही होगा और मीडिया अगर जागृत रहेगा तो लोकतंत्र के हितों की भी रक्षा की जा सकेगी.
वरिष्ठ पत्रकार डॉ सुरेश सम्राट ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि आज के दौर में ऐसे आयोजनों की बेहद आवश्यकता है क्योंकि पत्रकारिता की छवि गिरावट के दौर से गुजर रही है और समय रहते हैं इस छवि को संभालना समाज के लिए बेहद आवश्यक है.
शहर के वरिष्ठ पत्रकार राकेश अचल ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि स्वतंत्रता ईश्वर प्रदत्त जड़ चेतना है प्रकृति ने हमें स्वतंत्रता दी है तो उसका उपयोग करना चाहिए और प्रेस की रक्षा से ही समाज और संस्कृति की रक्षा हो सकेगी.
वरिष्ठ पत्रकार डॉ केशव पांडे ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि गूज मीडिया हाउस और ग्रामीण पत्रकारिता विकास संस्थान द्वारा यह बेहद ही अनूठा आयोजन किया गया है जिसके लिए दोनों संस्थान बधाई के पात्र हैं समाज में जो मीडिया की छवि बिगड़ी है उसे संभालने के लिए ऐसे आयोजनों की बेहद आवश्यकता है. विमर्श समारोह के बाद ग्वालियर अंचल की पत्रकारिता को मुकाम पर पहुंचाने वाले वरिष्ठ पत्रकार सर्व श्री डॉ केशव पांडे, राकेश अचल, डॉ सुरेश सम्राट, सुरेश दंडोतिया और देव श्रीमाली का सम्मान भी किया गया ।
इस आयोजन में नव भारत के संपादक हरीश दुबे, अजय भारत के संपादक रविशेखर , ग्वालियर हलचल की संपादक कविता मांढरे , पुर्व संयुक्त संचालक जनसमपर्क सुभाष अरोरा, सुधार के संपादक श्याम श्रीवास्तव वरिष्ठ पत्रकार जावेद खान , जितेंद्र जादौन, सुरेश शर्मा, रमन शर्मा, संजय शर्मा, पंकज श्रीमाली , विजय तिवारी , गजेन्द्र इंगले , विजय पांडे, आनंद त्रिवेदी एव॔ बड़ी संख्या में पत्रकार मौजूद थे। संचालन पी आर ओ हितेंद्र भदोरिया द्वारा दिया गया। सभी अतिथियो का स्वागत अचेन्द्र सिंह कुशवाह और हरीश पाल ने किया।
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