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'लोकतंत्र बचाव' के मुद्दे पर भाजपा का राष्ट्रव्यापी उपवास

संसद में बजट सत्र की कार्यवाही में गतिरोध पैदा करने के कांग्रेस और अन्य दलों के रवैये का विरोध करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज राष्ट्रव्यापी 'लोकतंत्र बचाव' उपवास की अगुवाई कर रहे हैं।

लोकतंत्र बचाव के मुद्दे पर भाजपा का राष्ट्रव्यापी उपवास
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नयी दिल्ली। संसद में बजट सत्र की कार्यवाही में गतिरोध पैदा करने के कांग्रेस और अन्य दलों के रवैये का विरोध करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज राष्ट्रव्यापी 'लोकतंत्र बचाव' उपवास की अगुवाई कर रहे हैं। सुबह 10 बजे से शुरू हुआ यह उपवास शाम पांच बजे तक चलेगा।



भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) की ओर से जारी एक वक्तव्य के अनुसार '' कांग्रेस के अलाेकतांत्रिक रवैये, विभाजनकारी राजनीति की प्रवृति और विकास विरोधी एजेंडे को उजागर करने के लिए मोदी आज एक दिन का उपवास रखेंगे और इसके साथ साथ अपने नियमित आधिकारिक कार्यों को पूरा करेंगे । इस उपवास में उनका साथ पार्टी के सभी सांसद देंगे और इस दौरान देशभर में धरने दिए जाएंगे।''

प्रधानमंत्री इस उपवास के दौरान ही चेन्नई के कांचीपुरम जिले में दसवें डिफेंस एक्पो का उद्घाटन करेंगे। इस प्रदर्शनी में भारती की हथियार विनिर्माण क्षमता को दर्शाया गया है। इसके बाद प्रधानमंत्री चेन्नई के अडयार में कैंसर संस्थान का दौरा भी करेंगे। प्रधानमंत्री के इस उपवास में देशभर के भाजपा नेता, केंद्रीय मंत्री और पार्टी अध्यक्ष अमित शाह भी हिस्सा लेंगे।

पार्टी की ओर से जारी बयान में कहा गया है '' सत्ता से बाहर रहने के कारण पैदा हुई हताशा और कुंठा तथा अपनी लोकप्रियता के निम्नतर स्तर पर जाने के कारण कांग्रेस एक नियोजित रणनीति के तहत समाज में एक तरह का डर पैदा कर रही है और देश में भ्रम की स्थिति पैदा करने की कोशिश कर रही है। समाज में नफरत और दरार पैदा करने के साथ साथ कांग्रेस पार्टी देश की शांति और सदभावना को भी नुकसान पहुंचा रही है। संसद का पूरा बजट सत्र जिसमें आम आदमी के हितों से जुड़े महत्वपूर्ण मसलों पर विचार विमर्श किया जाना था ,वह कांग्रेस की गतिविधियों की वजह से पूरी तरह बाधित हुआ है।''

इस बीच कांग्रेस ने इस उपवास को लेकर प्रतिक्रिया करते हुए कहा “ यह कुछ नहीं बल्कि फोटो खिंचवाने और ड्रामा करने का मौका है। यह समय प्रधानमंत्री के उपवास पर बैठने का नहीं बल्कि उनके रिटायरमेंट का है यदि अभी नहीं तो 2019 के बाद उन्हें रिटायर होना ही है। ''

इस दौरान केंद्रीय मंत्री जे पी नड्डा वाराणसी और रविशंकर प्रसाद पटना , राजनाथ सिंह और धर्मेन्द्र प्रधान दिल्ली में, निर्मला सीतारमण चेन्नई में, प्रकाश जावडेकर बेंगलूरू में, एम जे अकबर विदिशा और के जे एलफांस केरल में उपवास करेंगे । इनके अलावा अन्य मंत्री भी अलग अलग स्थानों पर उपवास में हिस्सा लेंगे।


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