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जयराम रमेश का बड़ा खुलासा- अडानी महाघोटाले में जेपीसी जांच की मांग हिंडेनबर्ग रिसर्च के खुलासों से कहीं अधिक आगे तक

कांग्रेस के महासचिव और सीनियर नेता जयराम रमेश ने अडानी महाघोटाले में संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) जांच की मांग हिंडेनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट में किए गए खुलासों से कहीं अधिक आगे तक बताया

जयराम रमेश का बड़ा खुलासा- अडानी महाघोटाले में जेपीसी जांच की मांग हिंडेनबर्ग रिसर्च के खुलासों से कहीं अधिक आगे तक
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नई दिल्ली। कांग्रेस के महासचिव और सीनियर नेता जयराम रमेश ने अडानी महाघोटाले में संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) जांच की मांग हिंडेनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट में किए गए खुलासों से कहीं अधिक आगे तक बताया। उन्होने कहा कि अडानी ग्रुप से जुड़ी अनियमितताएं और ग़लत कार्य राजनीतिक अर्थव्यवस्था के हर पहलु से जुड़े हुए हैं।

जयराम रमेश ने एक्स पर आगे लिखा, अडानी ग्रुप से जुड़ी अनियमितताएं और ग़लत कार्य राजनीतिक अर्थव्यवस्था के हर पहलु से जुड़े हुए हैं। हमारी 100 सवालों की HAHK (हम अडानी के हैं कौन) सीरीज में हमने इन्हें हाईलाइट किया था। इस महाघोटाले की कुछ मुख्य बातें एवं इससे जुड़े तथ्य:

* एयरपोर्ट्स, पोर्ट्स, सीमेंट और अन्य महत्वपूर्ण क्षेत्रों में अडानी का एकाधिकार सुनिश्चित करने के लिए भारत की जांच एजेंसियों का दुरुपयोग।

* भारत की प्रतिष्ठा को ताक पर रखकर पड़ोस में अडानी एंटरप्राइजेज की ज़रूरतों के लिए भारत की विदेश नीति के हितों के साथ समझौता करना।

* इजरायल के साथ भारत के रणनीतिक संबंधों को एक ही कंपनी, अडानी को सौंप देना।

* कोयला और बिजली उपकरणों की ओवर-इनवॉइसिंग, जिसने न केवल मनी-लॉन्ड्रिंग और बेतहाशा मुनाफे को बढ़ावा दिया है, बल्कि आम लोगों के बिजली के बिलों में भी वृद्धि की गई है।

* अडानी ग्रुप को सार्वजनिक संपत्तियों पर अनियमित रूप से लीज का एक्स्टेंशन।

* सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों, विशेष रूप से SBI द्वारा प्रमुख प्रोजेक्ट को ऋण प्रदान करने में अप्रत्याशित पक्षपात दिखाना। इसमें मुंद्रा में अडानी कॉपर प्लांट, नवी मुंबई में एयरपोर्ट और यूपी एक्सप्रेसवे परियोजना शामिल है।

जयराम रमेश ने बताया ऊपर जितने भी मामले हैं उनमें से किसी का भी संदर्भ हिंडेनबर्ग के आरोपों में नहीं हैं। उसके आरोप कैपिटल मार्केट से संबंधित मामलों तक ही सीमित हैं - स्टॉक हेरफेर, अकाउंटिंग धोखाधड़ी और विनियामक एजेंसियों में हितों का टकराव। हिंडेनबर्ग के खुलासे तो सिर्फ़ हिमशैल के सिरे जैसा है - छोटा सा हिस्सा दिखा है। मोदानी महाघोटाले की पूरी तरह से जांच और खुलासा सिर्फ एक JPC ही कर सकती है।


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