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आंध्र में तेदेपा-भाजपा-जसेपा चुनाव से पहले शक्ति प्रदर्शन के लिए तैयार

तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा), जनसेना पार्टी (जसेपा) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) चिलकलुरिपेट में 17 मार्च को होने वाली रैली के सफल आयोजन के लिए बड़े पैमाने पर इंतजाम कर रही हैं

आंध्र में तेदेपा-भाजपा-जसेपा चुनाव से पहले शक्ति प्रदर्शन के लिए तैयार
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अमरावती। तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा), जनसेना पार्टी (जसेपा) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) चिलकलुरिपेट में 17 मार्च को होने वाली रैली के सफल आयोजन के लिए बड़े पैमाने पर इंतजाम कर रही हैं। आंध्र प्रदेश में आगामी विधानसभा और लोकसभा चुनावों के लिए गठबंधन बनने के बाद तीनों विपक्षी पार्टियों यानी एनडीए की यह पहली रैली होगी।

एनडीए सहयोगियों ने रैली के लिए बड़ी संख्या में लोगों को जुटाने की योजना बनाई है, जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, तेदेपा प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू और जनसेना नेता व अभिनेता पवन कल्याण संबोधित करेंगे।

यह एक दशक के बाद तीनों नेताओं द्वारा संबोधित की जाने वाली पहली रैली भी होगी।

त्रिपक्षीय गठबंधन और सीट बंटवारे के समझौते से उत्साहित तेदेपा गुंटूर जिले में होने वाली इस रैली की कामयाबी सुनिश्चित करने के लिए दोनों सहयोगियों के साथ तालमेल कर अपने सभी संसाधनों को तैनात कर रही है।

शक्ति प्रदर्शन की तैयारियों की देखरेख तेदेपा महासचिव नारा लोकेश कर रहे हैं। उन्‍होंने बुधवार को भाजपा और जनसेना के नेताओं के साथ कार्यक्रम स्थल का दौरा किया।

गठबंधन के नेताओं ने 17 मार्च की रैली के स्थल बोपुडी में 'भूमि पूजा' की। तीनों साझेदार इस आयोजन को प्रतिष्ठित मान रहे हैं।

नेताओं ने याद दिलाया कि 2014 में भी तत्कालीन गठबंधन सहयोगियों ने गुंटूर जिले में चुनाव अभियान शुरू किया था, जो एक बड़ी सफलता साबित हुई।

गठबंधन के साथी 2024 के चुनाव के लिए इसी भावना के साथ आगे बढ़ रहे हैं।

पवन कल्याण ने 2014 के चुनावों में केवल तेदेपा-भाजपा गठबंधन के लिए प्रचार किया था।

दोनों दलों में 2018 तक साझेदारी थी, उसके बाद तेदेपा आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने का वादा पूरा नहीं किए जाने पर एनडीए से बाहर हो गई थी।

पवन कल्याण ने पहले इसी मुद्दे पर खुद को दोनों पार्टियों से अलग कर लिया था।

साल 2019 के चुनावों में अलग-अलग लड़े दोनों दलों को हार का सामना करना पड़ा था। अब तीनों दलों ने एक बार फिर हाथ मिलाया है। इस गठबंधन का मिशन वाईएसआर कांग्रेस को सत्ता से हटाना है।

तीनों दलों के नेताओं ने कहा कि यह गठबंधन "वाईएसआर कांग्रेस के अत्याचारी शासन का अंत करके पांच करोड़ लोगों के सपनों को साकार करने" के लिए बना है।

उन्होंने भरोसा जताया कि गठबंधन राज्य में एक इतिहास रचेगा।

चूंकि तीनों दलों के सभी शीर्ष नेता इस रैली को संबोधित करने जा रहे हैं, जिसमें राज्यभर से लाखों लोग शामिल होंगे, लोकेश और अन्य दो दलों के नेताओं ने आयोजित होने वाले कार्यक्रम की तैयारियों पर विस्तार से चर्चा की। उन्‍होंने कहा कि यह रैली स्‍थल 200 एकड़ को बड़ा मैदान है।

लोकेश ने आयोजकों से यह सुनिश्चित करने को कहा कि बैठक में भाग लेने वाले किसी भी व्यक्ति को किसी भी प्रकार की कोई असुविधा न हो।

कार्यक्रम स्थल का दौरा करने वालों में तेदेपा राज्य इकाई के अध्यक्ष, किंजरापु अचेन नायडू, पूर्व मंत्री, पट्टीपति पुल्ला राव और कन्ना लक्ष्मीनारायण, तेदेपा के वरिष्ठ नेता जैसे कोम्मारेड्डी पट्टाभिराम, अलापति राजेंद्र प्रसाद और नक्का आनंद बाबू के अलावा अन्य भाजपा नेता पतुरी नागभूषणम, कल्याणम शिव और जनसेना से श्रीनिवास शामिल थे।

पट्टीपति पुल्ला राव ने भरोसा जताया कि वाईएसआर कांग्रेस राज्य से पूरी तरह से जड़ से खत्म हो जाएगी और लोग 17 मार्च की बैठक का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। नेता राज्य की प्रगति के लिए स्पष्ट रोडमैप देंगे.

पतुरी नागभूषणम ने कहा कि वाईएसआर कांग्रेस को आगामी चुनाव लड़ने के लिए उम्मीदवार भी नहीं मिल रहे हैं और गठबंधन आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी को "घर भेजने" की दिशा में काम करेगा, जिन्होंने "राज्य को नष्ट कर दिया" और तीनों पार्टियां राज्य के विकास के लिए "त्रिमूर्ति" की तरह काम करेंगी।

जनसेना नेता नागराजू ने कहा कि जगन मोहन रेड्डी ने सभी क्षेत्रों को ध्वस्त कर दिया और लोग राज्य के पुनर्निर्माण का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।


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