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स्वराज इंडिया ने अस्थाना के मसले पर मोदी सरकार को घेरा

सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना पर लगे भ्रष्टाचार के गंभीर आरोपों पर स्वराज इंडिया ने केंद्र की मोदी सरकार पर हमला किया है

स्वराज इंडिया ने अस्थाना के मसले पर मोदी सरकार को घेरा
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नई दिल्ली। सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना पर लगे भ्रष्टाचार के गंभीर आरोपों पर स्वराज इंडिया ने केंद्र की मोदी सरकार पर हमला किया है। पार्टी के प्रवक्ता अनुपम ने सोमवार को जारी एक बयान में केंद्र सरकार से सवाल किया है कि संदेसरा समूह की कंपनी 'स्टर्लिग बॉयोटेक' पर आयकर विभाग के छापे में जब्त हुई डायरी में नाम आने के बावजूद राकेश अस्थाना को सीबीआई में नंबर दो पोजिशन पर नियुक्त क्यों किया गया, वह भी निदेशक आलोक वर्मा के लिखित विरोध के बावजूद?

उन्होंने कहा है, "यह हैरान करने वाली बात है कि जिस 'स्टर्लिग बॉयोटेक' मसले में भ्रष्टाचार की जांच सीबीआई कर रही थी, उसी के एक आरोपी को सीबीआई का विशेष निदेशक बना दिया जाता है! 'न खाऊंगा, न खाने दूंगा' जैसी बड़ी-बड़ी बातें बोलने वाले मोदीजी की आखिर ऐसी क्या मजबूरी थी कि भ्रष्टाचार के आरोप में घिरे अपने प्रिय अस्थाना को उन्होंने जबरन सीबीआई में उच्च पद पर नियुक्त कर दिया?"

उल्लेखनीय है कि राकेश अस्थाना गुजरात काडर के आईपीएस अधिकारी हैं, जो गुजरात सरकार द्वारा गठित उस एसआईटी का हिस्सा थे, जिसने गोधरा कांड पर मोदी को क्लीन चिट दे दिया था। सूरत, अहमदाबाद और बड़ोदरा में पुलिस अधिकारी के तौर पर कई बड़े पदों पर रहने वाले अस्थाना प्रधानमंत्री मोदी एवं अमित शाह के करीबी माने जाते हैं।

अनुपम ने कहा है, "अब तक लालू प्रसाद से लेकर माल्या, नीरव मोदी, चोकसी, मोईन कुरैशी जैसे कई संवेदनशील मामलों को देखने वाले अस्थाना की आज पोल खुल गई है। ज्यादा बड़ी बात है कि इस भ्रष्ट अधिकारी को संरक्षण और प्रोमोशन देने वाले मोदी जी की भी पोल खुल गई है।"

उल्लेखनी है कि सर्वोच्च न्यायालय के वरिष्ठ अधिवक्ता प्रशांत भूषण ने राकेश अस्थाना की सीबीआई में हुई नियुक्ति के खिलाफ सर्वोच्च न्यायानय में याचिका दायर की थी।

अनुपम ने कहा है, "अब कुछ लोग मीडिया के माध्यम से इस मसले को एक नया मोड़ देने की कोशिश कर रहे हैं। इसे सीबीआई के विशेष निदेशक अस्थाना और निदेशक आलोक वर्मा के बीच का व्यक्तिगत झगड़ा बताया जा रहा है। जबकि असल में यह सारा किया धरा नरेंद्र मोदी का है, जिन्होंने नियमों को ताक पर रख कर अपने एक भ्रष्टतम पुलिस अधिकारी के माध्यम से माल्या का लुकआउट नोटिस बदलवाने जैसे न जाने कितने खेल किए हैं।"

स्वराज इंडिया के अध्यक्ष योगेंद्र यादव ने कहा, "पिछले साढ़े चार सालों में यह सरकार देश के संवैधानिक संस्थानों को ध्वस्त करके नरेंद्र मोदी नामक एक व्यक्ति के चरणों में समर्पित करने में लगी हुई है। विश्वविद्यालयों से लेकर परीक्षा भर्ती आयोग से लेकर जांच एजेंसियों तक हर जगह भ्रष्ट एवं चहेते लोगों की नियुक्ति हो रही है और वह भी नियमों का उल्लंघन करके। चाहे राफेल घोटाले जैसे मामलों में प्रधानमंत्री मोदी का व्यक्तिगत भ्रष्टाचार हो या सीबीआई में किया जा रहा संस्थागत भ्रष्टाचार, ईमानदारी का चोला पहनकर आई इस सरकार ने देश की जनता के साथ बड़ा छलावा किया है। आने वाले चुनावों में देश की जनता मोदीजी से इसका हिसाब लेगी।"


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