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हेट स्पीच केस में सुप्रीम कोर्ट ने चार्जशीट दाखिल करने का दिया आदेश

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को दिल्ली पुलिस को दिसंबर 2021 में गोविंदपुरी की धर्म संसद में दिए गए नफरत फैलाने वाले भाषणों के एक मामले में चार्जशीट कोर्ट में पेश करने का निर्देश दिया

हेट स्पीच केस में सुप्रीम कोर्ट ने चार्जशीट दाखिल करने का दिया आदेश
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नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को दिल्ली पुलिस को दिसंबर 2021 में गोविंदपुरी की धर्म संसद में दिए गए नफरत फैलाने वाले भाषणों के एक मामले में चार्जशीट कोर्ट में पेश करने का निर्देश दिया। दिल्ली पुलिस की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल (एएसजी) के.एम. नटराज ने कहा कि मामले की जांच एडवांस स्टेज में है।

नटराज ने भारत के मुख्य न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़ से कहा कि वे अभियुक्तों के वॉइस सैंपल पर एक फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला (एफएसएल) की रिपोर्ट का इंतजार कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि पुलिस जल्द ही इस मामले में चार्जशीट दाखिल करेगी।

शीर्ष अदालत ने कहा कि एएसजी ने प्रस्तुत किया है कि जांच अब एक एडवांस स्टेज में है और वॉइस सैंपल की रिपोर्ट जल्द ही फोरेंसिक लैब से आने की उम्मीद है।

पीठ ने अपने आदेश में कहा, आरोप पत्र की एक कॉपी रिकॉर्ड में रखी जाए। मामला अप्रैल के पहले सप्ताह का है।

जनवरी में, दिल्ली पुलिस ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि वह 2021 में राष्ट्रीय राजधानी में एक धार्मिक सभा में दिए गए हेट स्पीच की निष्पक्ष जांच कर रही है और अब तक दिल्ली बीजेपी के प्रवक्ता, सुदर्शन न्यूज के प्रधान संपादक, हिंदू युवा वाहिनी के सदस्यों और अन्य लोगों से पूछताछ की है।

दिल्ली पुलिस के जांच अधिकारी ने एक हलफनामे में कहा कि दिल्ली भाजपा के प्रवक्ता विक्रम बिधूड़ी से पूछताछ की गई और सुदर्शन न्यूज के प्रधान संपादक सुरेश चव्हाणके से 1 नवंबर, 2022 को पूछताछ की गई जो सीआरपीसी की धारा 41ए के तहत थी। पुलिस ने कहा कि कथित हेट स्पीच वीडियो की जांच की गई है और प्रतिलेख तैयार किया गया है।

हलफनामे में कहा गया, दिल्ली के फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी ने सुरेश चव्हाणके के वॉयस सैंपल की रिकॉडिर्ंग के लिए 17.03.2023 की तारीख तय की है। उसके बाद उनके वॉयस सैंपल को यूट्यूब से डाउनलोड किए गए वीडियो/ऑडियो से मिलाया जाएगा, एमएलएटी की प्रक्रिया के माध्यम से वीडियो का विवरण प्राप्त करने का प्रयास किया जा रहा है।

इसमें कहा गया है, मामले की जांच निष्पक्ष और बिना किसी पक्षपात के की जा रही है।

कार्यकर्ता तुषार गांधी का प्रतिनिधित्व करने वाले अधिवक्ता शादान फरासत ने कहा कि पुलिस ने इस तरह के हेट स्पीच को रोकने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया है।

13 जनवरी को, सुप्रीम कोर्ट ने पांच महीने के अंतराल के बाद दिसंबर 2021 में गोविंदपुरी में धरम संसद में दिए गए कथित हेट स्पीच पर एफआईआर दर्ज करने और आज तक गिरफ्तारी या चार्जशीट दाखिल नहीं करने के लिए दिल्ली पुलिस को फटकार लगाई थी। कोर्ट ने पुलिस को बताया कि मामले की जांच में कोई खास प्रगति नहीं हुई है।

शीर्ष अदालत कथित अभद्र भाषा के मामलों में दिल्ली पुलिस द्वारा निष्क्रियता का आरोप लगाते हुए गांधी द्वारा दायर एक अवमानना याचिका पर सुनवाई कर रही थी।


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