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कांग्रेस केवल पवित्र मुद्दे के राजनीतिकरण में दिलचस्पी रखती है: सुखबीर बादल

शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस सरकार केवल बलिदान के मुद्दे का राजनीतिकरण करने में दिलचस्पी ले रही

कांग्रेस केवल पवित्र मुद्दे के राजनीतिकरण में दिलचस्पी रखती है: सुखबीर बादल
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जालंधर । शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस सरकार केवल बलिदान के मुद्दे का राजनीतिकरण करने में दिलचस्पी ले रही है और इस जघन्य अपराध के लिए जिम्मेदार अपराधियों को पकड़ने के लिए कुछ नहीं किया है।

बादल ने पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ यहां बातचीत के बाद पत्रकारों से कहा कि कांग्रेस सरकार ने न केवल पूरे मामले का राजनीतिकरण किया है, बल्कि एक निष्पक्ष जांच करने के लिए इसके द्वारा गठित विशेष जांच दल को भी पड़ताल नहीं करने दे रही है। उन्होंने कहा कि यही वजह है कि मामले की सही तरीके से जांच नहीं की जा रही है और अब तक कुछ भी हासिल नहीं हुआ है।

इस मुद्दे पर एक प्रश्न का उत्तर देते हुए श्री बादल ने कहा कि पंजाबी बेअदबी के सभी मामलों की निष्पक्ष जांच के पक्ष में हैं ताकि दोषियों को जल्द से जल्द दंडित किया जा सके। उन्होंने कहा कि जांच दल के कब्जे में पहले से चल रही लीड्स का पीछा किया जाना चाहिए और बेअदबी के मामलों को जल्द हल किया जाना चाहिए।

राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार द्वारा छोटे किसानों के लिए शुरू की गयी छह हजार रुपये प्रतिवर्ष की सीधी हस्तांतरण योजना के बारे में श्री बादल ने कहा कि केंद्र ने सभी राज्यों को किसानों की आगे की सूची मांगी है ताकि उन्हें इस साल मार्च में पहली किश्त प्राप्त हो सके। उन्होंने कहा कि अन्य सभी राज्यों ने सूचियों को अग्रेषित करना शुरू कर दिया है लेकिन पंजाब की कांग्रेस सरकार ने इस संबंध में कुछ भी नहीं किया है। उन्होंने कहा कि इससे पहले पंजाब सरकार ने इसी तरह से गरीबों को केंद्र की मुफ्त चिकित्सा बीमा योजना को लागू नहीं करके पांच लाख रुपये तक का मुफ्त इलाज करने का मौका खो दिया है।

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह पर आरोप लगाया कि वह किसानों की पीड़ा के प्रति उदासीन हैं। उन्होंने कहा कि किसानों को पूर्ण रूप से कर्ज माफी देने और 10 लाख रुपये के मुआवजे और आत्महत्या करने वाले किसानों को नौकरी देने का वादा करने से इनकार करने के बाद भी वह किसानों को सभी फसलों पर न्यूनतम समर्थन मूल्य देने से इनकार कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि पंजाब में किसानों को केंद्र से एक आश्वासन के बावजूद मक्का और दलहन पर न्यूनतम समर्थन मूल्य नहीं मिल पा रहा है।

इस अवसर पर डॉ दलजीत सिंह चीमा, पवन कुमार टीनू, गुरुप्रताप सिंह वडाला, बलदेव खैरा और अन्य उपस्थित थे।


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