Top
Begin typing your search above and press return to search.

भारत में लगातार हो रही परीक्षा धांधलियों से छात्र परेशान

एनईईटी-एमबीबीएस में कथित गड़बड़ियों के बाद अब सरकार ने खुद ही यूजीसी-नेट परीक्षा रद्द कर दी है. लाखों छात्र अपने भविष्य को लेकर चिंता में डूब गए हैं

भारत में लगातार हो रही परीक्षा धांधलियों से छात्र परेशान
X

एनईईटी-एमबीबीएस में कथित गड़बड़ियों के बाद अब सरकार ने खुद ही यूजीसी-नेट परीक्षा रद्द कर दी है. लाखों छात्र अपने भविष्य को लेकर चिंता में डूब गए हैं.

प्रयागराज के पंकज यादव उन नौ लाख छात्रों में से हैं, जिनके यूजीसी-नेट परीक्षा देने के एक दिन बाद परीक्षा को रद्द कर दिया गया. पंकज ने राजनीति विज्ञान में डॉक्टरेट करने के बाद तीसरी बार यह परीक्षा दी थी और इस बार उन्हें पास हो जाने की पूरी उम्मीद थी.

समाचार एजेंसी रॉयटर्स से बात करते हुए 24 साल के पंकज ने बताया, "हम छात्र सिर्फ विरोध ही कर सकते हैं. मुझे लगा था मैंने परीक्षा अच्छे से दी है. मेरा अगर कहीं पर पीएचडी के लिए नामांकन हो जाए, तो मैं विश्वविद्यालय में सहायक प्रोफेसर की नौकरी के लिए योग्य हो जाऊंगा."

युवाओं के टूटते सपने

पंकज का सपना फिलहाल पूरा नहीं हो पाएगा. 18 जून को उन्होंने और 317 शहरों में उनके जैसे नौ लाख से ज्यादा छात्रों ने यह परीक्षा दी और अगले दिन ही भारत के केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने परीक्षा को रद्द करने की घोषणा कर दी.

19 जून की देर रात परीक्षा रद्द करने की घोषणा करते हुए मंत्रालय ने कहा कि ऐसा गृह मंत्रालय से मिली जानकारी के आधार पर करना पड़ा कि "संभव है, परीक्षा की शुद्धता प्रभावित हुई हो." मंत्रालय ने यह भी कहा कि अब इस मामले की जांच सीबीआई करेगी और परीक्षा फिर से कब होगी, इस बारे में जानकारी अलग से दी जाएगी.

इस घटना के बाद नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) की क्षमता पर गहरे सवाल खड़े हो गए हैं. एनईईटी-एमबीबीएस परीक्षा में कथित रूप से गड़बड़ियों को लेकर एनटीए पहले ही सवालों के घेरे में है.

नेशनल टेस्टिंग एजेंसी की क्षमता पर गंभीर सवाल

अब ताजा घटना के बाद छात्र और विपक्षी पार्टियां केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रही हैं. कांग्रेस पार्टी ने एक बयान में आरोप लगाया कि "मोदी सरकार ने देश की शिक्षा और भर्ती प्रणाली को बर्बाद कर दिया है."

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, "पहली नौकरी पक्की," "आरक्षण का अधिकार" व "पेपर लीक से मुक्ति" का अपना एजेंडा हम कायम रखेंगे. युवाओं के अधिकारों के लिए सड़क से संसद तक हमारा संघर्ष जारी रहेगा." दूसरी विपक्षी पार्टियों ने भी सरकार की आलोचना की.

एनईईटी परीक्षा के बाद छात्रों में गुस्सा

कुछ छात्र संघों ने भी शिक्षा मंत्रालय के बाहर प्रदर्शन की अपील की है. मंत्रालय का कहना है कि वह "परीक्षाओं की पवित्रता सुनिश्चित करने और छात्रों के हितों के संरक्षण को लेकर प्रतिबद्ध है" और दोषियों को सजा मिलेगी


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it